नई दिल्ली। केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण कल यानी एक फरवरी को केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार के दूसरे कार्यकाल का आखिरी पूर्ण बजट संसद में पेश करेगी। छपाई के स्तर पर बजट डॉक्यूमेंट को अंतिम रूप देने का आखिरी चरण माना जाने वाला पारंपरिक हलवा समारोह गुरुवार को किए जाने के बाद अब कल […]
नई दिल्ली। केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण कल यानी एक फरवरी को केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार के दूसरे कार्यकाल का आखिरी पूर्ण बजट संसद में पेश करेगी। छपाई के स्तर पर बजट डॉक्यूमेंट को अंतिम रूप देने का आखिरी चरण माना जाने वाला पारंपरिक हलवा समारोह गुरुवार को किए जाने के बाद अब कल निर्मला सीतारमण देश का बजट जनता के सामने रखेगी। लेकिन क्या आप जानते हैं, इस बजट को तैयार कहां किया जाता है ? क्या आजादी के बाद से ही बजट को नार्थ ब्लॉक में छापा जाता था ? ऐसे ही कई सवालों के जवाब हम आपको देते है।
नार्थ ब्लॉक से पहले किसी समय बजट को छापने का काम राष्ट्रपति भवन में किया जाता था। आजादी के बाद साल 1950 तक बजट छपाई का काम राष्ट्रपति भवन में ही होता था, लेकिन 1950 में ही बजट का कुछ हिस्सा लीक हो गया। जिसके बाद सदन में काफी हंगामा हुआ था। उस दौरान तत्कालीन वित्त मंत्री जॉन मथाई के खिलाफ विरोधियों द्वारा प्रदर्शन भी किया गया था। इतना ही नहीं बजट लीक के बाद विरोध इतना ज्यादा बढ़ गया था कि जॉन मथाई को वित्त मंत्री के पद से इस्तीफा देना पड़ा।
राष्ट्रपति भवन में बजट के लीक होने के बाद इसके स्थान को बदलना पड़ा था। इसके बाद प्रिंटिंग के स्थान को बदलकर नई दिल्ली के मिंटो रोड में बजट छापने की प्रक्रिया को शुरू किया गया था। हालांकि 1980 में बजट छपाई होने की जगह में फिर से बदलाव करते हुए इस नार्थ ब्लॉक में लगाने का फैसला हुआ। उसके बाद से आज तक केंद्रीय बजट की छपाई का काम नॉर्थ ब्लॉक में ही होती आ रही है।
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