नई दिल्ली.7th pay commission: ओडिशा में 7वें वेतन आयोग की मांग को लेकर धरना प्रदर्शन कर रहे शिक्षकों के लिए राज्य सरकार की ओर से बुरी खबर आ सकती है. दरअसल जो शिक्षक धरना प्रदर्शन कर रहे हैं उनकी नो वर्क नो पे नीति के तहत तनख्वाह काटी जाएगी. ओडिशा की मुख्यमंत्री नवीन पटनायक की अगुवाई वाली बीजेडी सरकार ने इसके लिए पहले से चेतावनी दे दी है. ये खबर तब आई है जब राजस्थान, मध्य प्रदेश और यूपी में बीजेपी सरकारों ने 7वें वेतन आयोग के तहत शिक्षकों का बेसिक सैलेरी 18000 रुपए से 26000 रुपए करने का ऐलान किया है.
बता दें कि ओडिशा के अलावा जम्मू कश्मीर और बिहार में भी शिक्षक सैलरी बढ़ाने की मांग के लिए प्रदर्शन कर रहे हैं. खबर है कि बिहार के शिक्षक राज्य सरकार के खिलाफ बड़ा आंदोलन कर सकते हैं जिससे स्कूली बच्चों की पढ़ाई बुरी तरह प्रभावित होंगे.
7 वें वेतनमान का लाभ केंद्र सरकार के 50 लाख से अधिक कर्मचारी उठा रहे हैं. उन्हें उम्मीद है कि साल 2018 दिवाली या जनवरी 2019 में उनकी बेसिक सैलरी बढ़ाने की घोषणा की जा सकती है. हालांकि केंद्र की ओर से इस पर किसी तरह के कोई संकेत नहीं मिले हैं. इस साल मार्च में साफ कहा था कि केंद्र सरकार न्यूनतम तन्खवाह के अलावा फिटमेंट फैक्टर को बढ़ाने पर किसी तरह का कोई विचार नहीं कर रही है. उन्होंने ये भी कहा था कि नई पेंशन योजना को हटाने की भी मांग भी की जा रही है.
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