7th Pay Commission, 7th CPC Latest News Today: दिल्ली हाई कोर्ट ने शिक्षकों के वेतन वृद्धि पर लगी अंतरिम रोक बढ़ा दी है. निजी गैर-सहायता प्राप्त स्कूलों के शिक्षकों के लिए सातवें वेतन आयोग (7 वीं सीपीसी) रिपोर्ट की सिफारिशों को लागू करने के लिए इंतजार करना दिल्ली हाई कोर्ट के आदेश के साथ लंबा हो गया है.
नई दिल्ली. 7th Pay Commission, 7th CPC Latest News Today: दिल्ली हाई कोर्ट के आदेश के बाद अब सातवें वेतन आयोग के तहत निजी गैर-सहायता प्राप्त स्कूलों के शिक्षकों को वेतन वृद्धि की सिफारिशों मंजूर होने के लिए इंतजार और करना होगा. हाई कोर्ट ने एकल न्यायाधीश पीठ के उस आदेश पर अंतरिम रोक लगा दी है जिसने शहर के निजी गैर-मान्यता प्राप्त स्कूलों को शिक्षकों और अन्य कर्मचारियों के वेतन पर सातवें वेतन आयोग की सिफारिशों को लागू करने के लिए फीस बढ़ाने की अनुमति दी थी ये स्टे 30 अप्रैल तक बढ़ा दिया गया है.
निजी गैर-मान्यता प्राप्त स्कूल अपने स्टाफ की वोतम वृद्धि की सिफारिशों को लागू करने के लिए फीस में बढ़ोतरी करना चाहते हैं. हाई कोर्ट का स्टे लगाने का फैसला छात्रों और अभिभावकों के लिए एक अस्थायी राहत के रूप में आता है. इससे पहले 3 अप्रैल को दिल्ली हाई कोर्ट ने दिल्ली हाईकोर्ट के सिंगल जज के आदेश को चुनौती देने वाली आप सरकार की याचिका के बाद कुछ दिनों के लिए अंतरिम फीस बढ़ोतरी पर रोक लगा दी थी.
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3 अप्रैल को जस्टिस एस मुरलीधर और आई एस मेहता की पीठ ने भी नोटिस जारी किया था और मान्यता प्राप्त निजी स्कूलों की कार्रवाई समिति की प्रतिक्रिया मांगी थी. एक्शन कमेटी के सदस्य के रूप में निजी स्कूल हैं.
मार्च में दिल्ली उच्च न्यायालय की एकल न्यायाधीश पीठ ने निजी गैर-मान्यता प्राप्त स्कूलों द्वारा अंतरिम शुल्क वृद्धि की अनुमति दी थी. अदालत ने 13 अप्रैल 2018 को दिल्ली सरकार के उस परिपत्र को भी रद्द कर दिया था, जिसमें शिक्षा निदेशालय की मंजूरी के बिना इन स्कूलों को फीस बढ़ाने से रोक दिया था. सरकारी जमीन पर निजी गैर-मान्यता प्राप्त स्कूल काम करते हैं. लीज समझौते के मुताबिक स्कूलों को फीस बढ़ाने से पहले शिक्षा निदेशालय की पूर्व स्वीकृति लेनी होगी.