नई दिल्ली. लेखक सलमान रुश्दी ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर बड़ा हमला करते हुए कहा है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की ‘खामोशी’ एक नई तरह की ‘हिंसा’ की अनुमति दे रही है.
उन्होंने कहा कि भारत में बढ़ती असहिष्णुता हर तरह की आजादी के लिए गंभीर खतरा पैदा कर रही है. उन्होंने कहा कि वह आजादी पर हमले के खिलाफ लेखिका नयनतारा सहगल और अन्य लेखकों द्वारा पुरस्कार लौटाने का समर्थन करते हैं.
एनडीटीवी चैनल के एक कार्यक्रम में भाग लेने के दौरान रुश्दी ने कहा कि सामान्य स्वतंत्रता पर हमले हो रहे हैं. सभा करने का सामान्य-सा अधिकार, कोई ऐसा कार्यक्रम आयोजित करने का सामान्य-सा अधिकार कि जिसमें लोग बगैर किसी खतरे के किताब पढ़ सकें, बातें कर सकें- ये सभी ऐसा लग रहा है कि आज के भारत में गंभीर खतरे में हैं.
इसके अलावा उन्होंने कहा कि वह भाजपा या कांग्रेस में किसी का पक्ष नहीं ले रहे हैं. मेरा मानना है कि आज भारत में जो कुछ हो रहा है वह कुछ अलग है. मैं किसी राजनैतिक दल का प्रशंसक नहीं हूं. साफ है कि जब मेरी किताब सैटेनिक वर्सेज पर रोक लगाई गई थी तो वह कांग्रेस के राजीव गांधी ने लगाई थी. ऐसे ही जयपुर के एक कार्यक्रम में मुझे बहुत दूर से शामिल होना पड़ा था. इस तरह की बातों का मैं प्रशंसक नहीं हूं.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी हर मुद्दे पर राय रखने वाले व्यक्ति हैं. यह सुनना अच्छा लगेगा कि वह इन घटनाओं के बारे में क्या कह रहे हैं?