न्यूयॉर्क. भारत ने यूएन सिक्योरिटी कॉउंसिल में स्थायी सदस्य बनने के लिए अपनी मजबूत दावेदारी पेश की. भारत सिक्योरिटी कॉउंसिल में सुधार चाहता है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपनी दावेदारी मजबूत करने के लिए जी-4 देशों के साथ मुलाकात की. जी-4 देशों में जर्मनी, ब्राजील, जापान और भारत शामिल हैं. मोदी ने जर्मनी की चांसलर एंजेला मर्केल, जापान के प्रधानमंत्री शिंजो आबे और ब्राजील की राष्ट्रपति डिलमा रॉसेफ से कल मुलाक़ात की. ये चारों देश सिक्योरिटी कॉउंसिल में स्थायी सदस्य बनने के लिए एक दूसरे का समर्थन करते आ रहे हैं. वर्तमान में अमेरिका, चीन, फ्रांस, रूस, और ब्रिटेन सुरक्षा परिषद के स्थायी सदस्य हैं.
पीएम मोदी ने कहा, सुरक्षा परिषद समेत संयुक्त राष्ट्र में सुधार अनिवार्य है ताकि इसकी विश्वसनीयता और औचित्य बना रहे सके. साथ ही व्यापक प्रतिनिधित्व के द्वारा हम अपने उद्देश्यों की प्राप्ति अधिक प्रभावी रूप से कर सकेंगे. प्रधानमंत्री ने कहा कि 70 साल पहले जब एक भयानक विश्व युद्ध का अंत हुआ था तब इस संगठन के रूप में नई आशा ने जन्म लिया था. आज हम फिर मानवता की नई दिशा तय करने के लिए यहां एकत्रित हुए हैं.
सतत विकास सम्मेलन, 2015 में भी मोदी ने सिक्योरिटी कॉउंसिल में सुधार की थी वकालत
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सिक्योरिटी कॉउंसिल के सतत विकास सम्मेलन, 2015 में कहा था कि सिक्योरिटी कॉउंसिल की विश्वसनीयता और औचित्य बनाए रखने के लिए सुधार करना जरूरी है.