मुंबई: अक्सर अपने विवादित कारनामों के लिए सुर्खियों में रहने वाली राधे मां एक बार फिर सुर्खियों में हैं. अबकी बार वो मुंबई एयरपोर्ट पर मिले वीआईपी ट्रीटमेंट को लेकर चर्चा में हैं. मुंबई एयरपोर्ट के टर्मिनल 2 पर पहुंची राधे मां को देखते ही अधिकारी दौड़ पड़े और CISF के एक अधिकारी ने हाथ जोड़कर तस्वीर भी खिंचवाई. राधे मां को एयरपोर्ट अधिकारियों ने बैटरी कार पर बिठाया गया, जो खास तौर पर बुजुर्ग, दिव्यांग या लाचार लोगों के लिए होता है लेकिन राधे मां का जलवा ऐसा कि एयरपोर्ट वालों ने उन्हें न सिर्फ बैट्री कार पर बैठा कर पूरे सम्मान के साथ बाहर निकाला.
बता दें कि हाल ही में राधे मां दिल्ली के एक थाने में एसएचओ की कुर्सी पर विराजमान नजर आईं थीं. राधे मां के सामने एसएचओ समेत तमाम पुलिसवाले भक्ति भाव से खड़े नजर आए. जिसकी सजा के तौर पर एसएचओ समेत 6 पुलिसवालों को लाइन हाजिर भी किया जा चुका है और अब मुंबई एयरपोर्ट पर राधे मां की अंध भक्ति में जुटे सरकारी अमले की कारस्तानी सामने आई है. जिन अधिकारियों, कर्मचारियों और सुरक्षाकर्मियों को मुंबई एयरपोर्ट के तमाम इंतजामों की निगरानी और निगहबानी में तैनात रहना चाहिए था. वो अपने कामकाज छोड़कर एक स्वयंभू धर्मगुरु की सेवा में जुटे नजर आए. ऐसे में सवाल उठता है कि क्या नियम-कायदे को ठेंगा दिखाने वाले इन मुलाजिमों पर भी कार्रवाई होगी.
राधे मां पर दहेज उत्पीड़न, सेक्स रेक्ट, घरेलू हिंसा, मारपीट, यौन उत्पीड़न और धमकाने समेत कई तरह आरोपों से घिरी हुई हैं. हाल ही में साधु-संतों की सबसे बड़ी संस्था अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद ने उन्हें फर्जी संत घोषित किया है. साथ ही फगवाड़ा में रहने वाले सुरेंद्र मित्तल का आरोप है कि राधे मां उनको रात को कभी भी फोन करके परेशान करती हैं और डरा-धमकाकर उन्हें अपने खिलाफ बोलने से रोकती हैं. सुरेंद्र ने बताया कि उन्होंने कुछ महीनों पहले राधे मां के खिलाफ पंजाब पुलिस से शिकायत की थी. ऐसे में सवाल उठता है कि राधे मां के प्रति इतनी श्रद्धा क्यों ?