नई दिल्ली. देश की अर्थव्यवस्था, जीडीपी, नोटबंदी और जीएसटी जैसे मुद्दों पर मोदी सरकार को घेरने वाले पूर्व केंद्रीय मंत्री और बीजेपी के दिग्गज नेता अरुण शौरी के आरोपों पर पीएम मोदी ने तीखा हमला बोला है. पीएम मोदी ने कहा कि नोटबंदी करने की ताकत हमने दिखाई, मुट्ठी भर लोग इसे बदनाम कर रहे हैं.
अरुण शौरी ने एक टीवी चैनल को दिये इंटरव्यू में नोटबंदी पर सरकार की मंशा पर सवाल खड़े करते हुए नोटबंदी को मनी लॉन्ड्रिंग स्कीम करार दिया था. उन्होंने आरोप लगाया कि नोटबंदी के तहत बड़े पैमाने पर काले धन को सफेद किया गया. इसके जवाब में कंपनी सेक्रेटरी को संबोधित करते हुए पीएम मोदी ने कहा कि नोटबंदी के बाद कैश टू जीडीपी रेशियो में कमी आई है. सरकार बनते ही पहले दिन से काम शुरू किया है. हमने नोटबंदी जैसे साहसिक फैसले लिये.
शौरी ने कहा था कि वर्तमान में देश आर्थिक संकट से जूझ रहा है. जीएसटी पर शौरी ने कहा कि सरकार ने इसे लागू करने में इतनी जल्दबाजी दिखाई कि इंफोसिस को जीएसटी सॉफ्टवेयर का ट्रायल नहीं करने दिया गया. दरअसल जीएसटी के फॉर्म का स्वरूप काफी दिक्कतों भरा है और इसके डिजाइन में कई बड़ी खामियां हैं. जीएसटी को लेकर सरकार को तीन महीने में 7 बार नियम बदलने पड़े हैं.
इसके जवाब में बिना किसी का नाम लिए पीएम मोदी ने कहा कि जीएसटी से व्यापारियों को होने वाली परेशानियों को दूर करने के लिए सरकार कदम उठाएगी. व्यापारियों को डरने की जरूरत नहीं है. पिछले रिकॉर्ड नहीं खंगाले जाएंगे. हम हालात बदलने के लिए कदम उठा रहे हैं. हाल के दिनों में वाहनों की खरीददारी में इजाफा हुआ है. विदेशी रिकॉर्ड निवेश कर रहे हैं. साथ ही नौकरियां बढ़ी हैं. इतना ही नहीं, विदेश जाने वाले लोगों में 16 फीसदी का इजाफा हुआ है.
अरुण शौरी ने यशवंत सिन्हा के बयान का समर्थन करते हुए कहा कि देश की अर्थव्यवस्था काफी खराब हो गई है. उन्होंने कहा कि यशवंत सिन्हा ने मोदी सरकार पर जो अर्थव्यवस्था को लेकर जो आरोप लगाया है वो बिलकुल सही हैं. वो देश की अर्थव्यवस्था के बारे में बेहतर जानते हैं क्योंकि वो देश के वित्त मंत्री रह चुके हैं.
हालांकि, पीएम मोदी ने कहा कि पिछली सरकार में 8 बार जीडीपी की दर 5.7 परसेंट से नीचे गई थी. लोगों को नहीं भूलना चाहिए कि देश ने एक तिमाही में 0.2 परसेंट की विकास दर भी देख रखी है. पीएम मोदी ने कहा कि यह बात सही है कि पिछले तीन वर्षों में 7.5 प्रतिशत की औसत ग्रोथ हासिल करने के बाद इस वर्ष अप्रैल-जून की तिमाही में GDP ग्रोथ में कमी दर्ज की गई, लेकिन यह बात भी उतनी ही सही है कि सरकार इस ट्रेंड को रिवर्स करने के लिए पूरी तरह से प्रतिबद्ध हैं.
पीएम मोदी ने कहा कि पिछले तीन वर्षों में 21 सेक्टरों से जुड़े 87 छोटे-बड़े रिफॉर्म किए गए हैं. डिफेंस सेक्टर, कंस्ट्रक्शन सेक्टर, फाइनैंशल सर्विसेज, फूड प्रोसेसिंग जैसे कितने ही सेक्टरों में निवेश के नियमों में बड़े बदलाव हुए हैं. देश के आर्थिक क्षेत्र को खोलने के बाद से लेकर अब तक जितना विदेशी निवेश भारत में हुआ है, उसकी तुलना अगर पिछले तीन वर्षों में हुए निवेश से करें, तो आपको पता चलेगा कि हमारी सरकार जो रिफॉर्म कर रही है, उसका नतीजा क्या मिल रहा है.