नई दिल्ली : सिक्किम के गंगटोक में गुरु डांग मार गुरुद्वारे को हटाने के खिलाफ अमृत पाल सिंह की याचिका का सुप्रीम कोर्ट ने निस्तारण किया. सुप्रीम ने यथास्थिति बरकरार रखने के आदेश दिया है, जिसका मतलब है गुरु डांग मार गुरुद्वारे में किसी तरह का पुनर्निर्माण का काम नहीं होगा.
सिक्किम सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में बताया कि ये मामला हाई कोर्ट में लंबित है जिस पर 13 सितंबर को सुनवाई होने वाली है. जिस पर सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि 13 सितंबर तक यथा स्थिति बरकरार रहेगी. कोर्ट ने याचिकाकर्ता अमृत पाल सिंह को कहा कि वो हाई कोर्ट में याचिका दाखिल करें.
दरअसल याचिका में आरोप लगाया गया है कि सिक्किम सरकार इस गुरुद्वारे को तोड़ना चाहती है. याचिका में मांग की गई है कि राज्य सरकार किसी भी तरह से गुरुद्वारे को नुकसान ना पहुंचाए. याचिका में ये भी कहा गया है कि गुरुद्वारे में पूजा करने की इजाजत दी जाए.
याचिका में कहा गया है कि ये धामिर्क मान्यता है कि गुरु नानक वहां गए थे, तब लोगों ने कहा था कि पानी को समस्या है. ऐसे में गुरु ने वहां डांग मारी और वहां पानी आ गया. बता दें कि गुरुद्वारा 1970 में बना था. बता दें कि इससे पहले शिरोमणी अकाली दल के अध्यक्ष सुखबीर सिंह बादल ने भी गुरु डांग मार गुरुद्वारे के मामले पर गृह मंत्रालय से एडवाइजरी जारी करने की अपील की थी.