संत रामपाल पर हत्या के मामले में आज फैसला सुनाएगा हिसार कोर्ट

हरियाणा में डेरा सच्चा सौदा प्रमुख गुरमीत राम रहीम के बाद एक और संत के खिलाफ आज कोर्ट फैसला सुना सकती है. कई अलग-अलग मामलों के आरोपी संत रामपाल पर हिसार कोर्ट फैसला दे सकता है. 20 नवंबर 2014 को हत्या के आरोप में रामपाल की गिरफ्तारी के बाद जब उनके सतलोक आश्रम में सर्च अभियान चलाया गया था तो वहां से करोड़ों रुपए की खाद सामग्री मिली थी.

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संत रामपाल पर हत्या के मामले में आज फैसला सुनाएगा हिसार कोर्ट

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  • August 24, 2017 6:19 am Asia/KolkataIST, Updated 7 years ago
चंडीगढ़ : हरियाणा में डेरा सच्चा सौदा प्रमुख गुरमीत राम रहीम के बाद एक और संत के खिलाफ आज कोर्ट फैसला सुना सकती है. कई अलग-अलग मामलों के आरोपी संत रामपाल पर हिसार कोर्ट फैसला दे सकता है. 20 नवंबर 2014 को हत्या के आरोप में रामपाल की गिरफ्तारी के बाद जब उनके सतलोक आश्रम में सर्च अभियान चलाया गया था तो वहां से करोड़ों रुपए की खाद सामग्री मिली थी.
 
रामपाल के आश्रम से 7000 किलो देसी घी, 99 कार्टून सरसों का तेल, 186 कार्टून पारले बिस्कुट, 45 कैन सोयाबीन रिफाइंड तेल, 154 कट्टे मिल्क पाउडर, 600 कट्टे आटा और 600 कट्टे चीनी आदि. रामपाल का आश्रम किसी फाइव स्टार होटल से कम नहीं था. इसके अंदर स्विमिंग पूल, एलईडी टीवी से लेकर अस्पताल तक थे.
 
 
सोनीपत के गोहाना तहसील के धनाना गांव में रामपाल दास का जन्म हुआ था. पढ़ाई के बाद रामपाल को हरियाणा सरकार के सिंचाई विभाग में जूनियर इंजीनियर की नौकरी मिल गई .- नौकरी के दौरान रामपाल की मुलाकात 107 साल के कबीरपंथी संत स्वामी रामदेवानंद महाराज से हुई. रामपाल उनके शिष्य बन गए.
 
 
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार 21 मई 1995 को संत रामपाल ने 18 साल की नौकरी से इस्तीफा दे दिया और सतसंग करने लगे. संत रामपाल के अनुयायियों की संख्या बढ़ती चली गई. कमला देवी नाम की एक महिला ने करोंथा गांव में बाबा रामपाल दास महाराज को आश्रम के लिए जमीन दे दी. 1999 में बंदी छोड़ ट्रस्ट की मदद से रामपाल महाराज ने सतलोक आश्रम की नींव रखी.

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