पटना: बिहार में जेडीयू टूट गई है, पार्टी दो फाड़ हो गई है. सीएम नीतीश के गुट ने एनडीए में शामिल होने का फैसला किया है. नीतीश की अगुआई में हुई पार्टी की नेशनल एग्जीक्यूटिव की मीटिंग में एनडीए में शामिल होने का रिजोल्युशन पास हो गया है. मीटिंग में नीतीश ने शरद यादव पर जमकर निशाना साधा. नीतीश ने कहा कि जब एनडीए से जेडीयू 2013 में अलग हो रही थी तब शरद यादव पार्टी के अध्यक्ष थे. फिर क्यों एनडीए से अलग होने पर शरद यादव जी ने हमको नहीं रोका था. वहीं शरद यादव के जनता के समर्थन पर नीतीश ने कहा कि कहा कि बहुत से लोगों को भ्रम है कि जेडीयू का भी जनाधार है. जेडीयू जिसके साथ भी रहती है उसी की जीत होती है.
नीतीश कुमार ने कहा कि हम वोट के लिए काम नहीं करते हैं हम समाज के लिए काम करते हैं. ये लोग जो जनादेश की बात करते हैं. मैं उनसे पूछता हूं कि ये जनादेश हमको राज्य के विकास के लिए मिला था या फिर एक परिवार के विकास के लिए. हम समाजवादी विचार के लोग हैं. लोहिया की विचारधार को मानते हैं लेकिन लोगों की धार्मिक भावना की इज्जत करते हैं. काम करते हैं. नीतीश ने कहा कि जो लोग जनता को वोटर के रुप में देखते हैं, वे कभी समाज का भला नहीं कर सकते, वे केवल अपना परिवार को देखते हैं. मैं जनता को मालिक की तरह देखता हूं. कभी घमंड नहीं करते हूं. केंद्र में मंत्री रहे, बिहार में सीएम रहे लेकिन मैंने कभी घमंड नहीं किया. मेरे मन में कभी सत्ता का मोह नहीं रहा.
पटना में आयोजित पार्टी की नेशनल एग्जीक्यूटिव की मीटिंग में एनडीए में शामिल होने का रिजोल्युशन पास हो गया है. नीतीश समेत बाकि सदस्यों ने इस समर्थन किया है. इसके साथ ही पार्टी अब राष्ट्रीय स्तर पर बीजेपी की सहयोगी पार्टी बन गई है. इसके साथ ही पार्टी के दो नेताओं को मोदी सरकार में शामिल किया जा सकता है.