नई दिल्ली. सुप्रीम कोर्ट ने राज्य में अवैध रूप से रह रहे बांग्लादेशी नागरिकों के मामले में ढिलाई बरते जाने पर असम सरकार को फटकार लगाई. साथ ही, इस संबंध में अस्पष्ट व असंतोषजनक हलफनामा पेश करने को लेकर मामले के प्रति राज्य की गंभीरता पर सवाल खड़े किए. न्यायमूर्ति रंजन गोगोई तथा न्यायमूर्ति रोहिंटन […]
नई दिल्ली. सुप्रीम कोर्ट ने राज्य में अवैध रूप से रह रहे बांग्लादेशी नागरिकों के मामले में ढिलाई बरते जाने पर असम सरकार को फटकार लगाई. साथ ही, इस संबंध में अस्पष्ट व असंतोषजनक हलफनामा पेश करने को लेकर मामले के प्रति राज्य की गंभीरता पर सवाल खड़े किए. न्यायमूर्ति रंजन गोगोई तथा न्यायमूर्ति रोहिंटन फली नरीमन की पीठ ने सरकार के हलफनामे को अस्पष्ट व पूरी तरह असंतोषजनक करार दिया.
हलफनामे पर नराजगी जताते हुए कोर्ट ने उसे स्वीकार करने से मना कर दिया और राज्य के मुख्य सचिव को 17 दिसंबर, 2014 के कोर्ट के निर्देश के मुताबिक, एक ताजा हलफनामा दाखिल करने के लिए कहा, जिसमें सरकार द्वारा उठाए गए कदमों की चर्चा हो.
कोर्ट ने हलफनामा दाखिल करने के लिए मुख्य सचिव को एक सप्ताह का समय देते हुए कहा कि मुकम्मल हलफनामा पेश न करने की स्थिति में उन्हें खुद कोर्ट में उपस्थित होकर कारण बताना होगा.