नई दिल्ली: समंदर में ड्रैगन का शिकार करेगा हिंदुस्तान का ये सुपर शार्क. इसकी तैयारी शुरू हो चुकी है. हिंद महासागर में बहत जल्द इस सुपर शार्क की तैनाती होने वाली है. ये ऐसा योद्धा है जो समंदर में सैकड़ों फीट नीचे रहता है और कई मील दूर से ही खतरे को भांप लेता है. इसकी खासियत ये है कि दुश्मन को पता भी नहीं चलता और ये अपने मिशन को अंजाम देकर निकल जाता है. हिंदुस्तान के समंदर में चीन का काल शार्क की तरह मुंह बाए खड़ा है. एक कदम भी आगे बढ़ाया तो नामोनिशान खत्म.
चीन के इस काल का नाम है आईएनएस कलवरी. ये हिंदुस्तान की सबसे घातक सबमरीन जो चीन की हर चाल नाकाम करने के लिए समंदर में उतरी है. बता दें कि कलवरी मतलब शार्क होता है. वो शार्क जो अपने शिकार को सिर्फ मारती नहीं उसे चबा जाती है. उसी तरह ये कलवरी भी समंदर में चीन को निगल जाएगी.
चीन की पनडुब्बियों और जंगी जहाजों को कानों कान खबर भी नहीं होगी और वो देखते ही देखते पाताल में समा जाएंगे. कलवरी को हम चीन का काल क्यों कह रहे हैं. ये शार्क जितनी खतरनाक क्यों है. समंदर में ये कैसे शिकार करती है. इन तस्वीरों से समझते जाइए. गहरे नीले समंदर में तैरते इस सबमरीन को देखिए इस पनडुब्बी को एक बेहद अहम ऑपरेशन का जिम्मा सौंपा गया है.थोड़ी देर तक पानी के ऊपर तैरने के बाद ये पनडुब्बी समंदर की गहराई में उतर जाती है और धीरे धीरे अपने लक्ष्य की ओर बढ़ने लगती है.
इसके निशाने पर है दुश्मन का ठिकाना है. समंदर के अंदर पहुंचते ही इस पनडुब्बी के अंदर हलचल शुरू हो जाती है. अब इसे टार्गेट पर निशाना लगाना है. देखिए पानी के अंदर से ही ये पनडुब्बी पहली मिसाइल फायर करती है. पानी के बुलबुले के साथ पहली मिसाइल जैसे ही छूटती है. एक और मिसाइल फायर के लिए तैयार हो जाती है.
एक के बाद एक तीन मिसाइलें फायर करने के बाद इस पनडुब्बी का काम पूरा हुआ और अब ये वापस समंदर के सतह पर आ रही है. किसी को भनक तक नहीं लगी. कोई समझ भी नहीं पाया और ऑपरेशन पूरा करके ये पनडुब्बी वापस अपने अड्डे पर लौट गई. आपको बता दें कि ये अमेरिका की वर्जीनिया क्लास सबमरीन की तस्वीरें हैं. जिससे गहरे समंदर में तीन टॉमहॉक मिसाइलें फायर की गईं और तीनों मिसाइलों ने अपने लक्ष्य पर अचूक निशाना लगाया.
दरअसल जिस तरह ये अमेरिकी सबमरीन बिना किसी शोर-शराबे के अपने टार्गेट को समंदर के अंदर से ही मटियामेट कर देती है. ठीक उसी तरह अब हिन्दुस्तान के समंदर में भी ऐसी पनडुब्बी उतरने जा रही है जो पलक झपकते दुश्मन को स्वाहा कर देगी.जी हां भारत ने हिंद महासागर में चीन के बढ़ते खतरे को देखते हुए आईएनएस कलवरी को उतारने का फैसला किया है.
कलवरी को चीन की उस पनडुब्बी का जवाब माना जा रहा है जो हाल ही में हिंद महासागर में दाखिल हुई थी और जो अब भी वहां मौजूद है. स्कॉर्पीन क्लास की पनडुब्बियों में आईएनएस कलवरी बेमिसाल है. इसे फ्रांस की मदद से बनाया गया है. पिछले साल अप्रैल में तत्कालीन रक्षा मंत्री मनोहर पर्रिकर ने मुंबई के मंझगांव में नौसेना के हवाले किया था. उसके बाद अगस्त में इसे ट्रायल के लिए समंदर में उतारा गया. करीब दस महीनों के ट्रायल के बाद अब कलवरी दुश्मन पर कहर बनकर टूटने के लिए तैयार है.