नई दिल्ली: कश्मीर के हालात बिगाड़ने में पाकिस्तान का हाथ 70 साल पुराना है, लेकिन अब इस पर राजनीति के नए-नए राग सुनाई दे रहे हैं. जम्मू-कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री फारुख अब्दुल्ला कह रहे हैं कि पाकिस्तान से बात किए बिना कश्मीर के हालात नहीं सुधरेंगे, लेकिन फारुख अब्दुल्ला के साथ मिलकर जम्मू-कश्मीर में सरकार चला चुकी कांग्रेस के नेता राहुल गांधी ऐसा बिल्कुल नहीं मानते.
राहुल गांधी आरोप लगा रहे हैं कि कश्मीर तो केंद्र सरकार की नीतियों की वजह से जल रहा है. क्या वाकई कश्मीर के हालात के लिए सिर्फ एनडीए सरकार जिम्मेदार है ? मोदी सरकार पर राहुल गांधी के आरोप में कितनी सच्चाई है, आज इसी मसले पर होगी महाबहस.
कश्मीर को हड़पने के लिए पाकिस्तान 70 साल से साज़िश रच रहा है, ये बात पूरी दुनिया के सामने जाहिर हो चुकी है. पाकिस्तान अब तक चार बार खुली जंग लड़ चुका है. सीधी लड़ाई में भारत से हर बार मात खाने के बाद पाकिस्तान 30 साल से आतंकवाद को हथियार बनाकर प्रॉक्सी वॉर चला रहा है, ये भी जगजाहिर है.
सीमा पार से गोलाबारी, आतंकवादियों की घुसपैठ और बेगुनाह लोगों पर आतंकी हमले करवाने के पीछे पाकिस्तान की मंशा क्या है, ये भी सबको मालूम है. भारतीय सेना आतंकवाद को मुंहतोड़ जवाब दे रही है, लेकिन देश के नेता राजनीति में बिजी हैं और राजनीति भी ऐसी, जिसमें सहयोगी दल ही कश्मीर के मसले पर एक-दूसरे की बात से सहमत नहीं हैं.
जम्मू-कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री फारुख अब्दुल्ला इन दिनों पाकिस्तान की पैरवी में जुटे हैं. मोदी सरकार साफ कह चुकी है कि पाकिस्तान जब तक आतंकवाद एक्सपोर्ट करना बंद नहीं करेगा, तब तक उसके साथ कोई बात नहीं होगी. जबकि फारुख अब्दुल्ला को लगता है कि पाकिस्तान से बात नहीं होगी, तब तक कश्मीर में हालात नहीं सुधरेंगे.
फारुख अब्दुल्ला की दलीलों को कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी ने सिरे से खारिज कर दिया है. उन्होंने कहा है कि पाकिस्तान से बातचीत कतई नहीं होनी चाहिए. राहुल गांधी ने आरोप लगाया है कि कश्मीर जल रहा है, क्योंकि मोदी सरकार की नीतियां ठीक नहीं हैं.
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