रायपुर: GST के नाम पर टैक्स अधिकारी काराबोरियों को परेशान नहीं कर पाएंगे. बिना इजाजत के कोई भी टैक्स अफसर दुकानों में दबिश नहीं दे पाएंगे. केंद्रीय वित्त मंत्रालय ने बयान जारी कर कहा कि GST के नाम पर अगर कोई परेशान करे तो टेलीफोन नंबर 011-23370115 पर शिकायत की जा सकती है.
जेटली ने छत्तीसगढ़ की राजधानी रायपुर में GST सेमिनार में शिरकत की. यहां उन्होंने GST से होने वाले फायदे गिनाए. जेटली ने कहा कि कुछ लोग GST में एक ही रेट रखने का सुझाव दे रहे हैं लेकिन ऐसा करने पर गरीबों के भोजन और अमीरों की BMW कार पर एक जैसा टैक्स लगता. जेटली ने व्यापारियों को विश्वास दिलाया कि उन्हें अब इंस्पेक्टर राज से मुक्ति मिल गई है. उन्हें सिर्फ अपना रिकॉर्ड मेंटेन करना है और बेफिक्री से व्यापार करना है.
वित्त मंत्री ने व्यापारियों को जीएसटी की खूबियां भी गिनाईं. उन्होंने बताया कि उनके सॉफ्टवेयर में कारोबार का पूरा ब्यौरा दर्ज हो चुका है, लिहाजा अब टैक्स चोरी की कोई गुंजाइश नहीं है. दरअसल जीएसटी से बचने के लिए कई दुकानदार एक ही जोड़ी जूते को अलग-अलग करके बेच रहे हैं और इन सबके दो बिल भी बना रहे हैं. ऐसा है कपड़ा व्यापारी भी कर रहे हैं. जेटली ने ऐसे व्यापारियों के खिलाफ दंडनीय कार्यवाही की चेतावनी दी है.
बता दें कि जीएसटी का मतलब गुड्स एंड सर्विसेज टैक्स है, जीएसटी पूरे देश के लिए इनडायरेक्ट टैक्स है, जो भारत को एक समान बाजार बनाएगा. जीएसटी लागू होने पर सभी राज्यों में लगभग सभी गुड्स एक ही कीमत पर मिलेंगे. राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी और पीएम नरेंद्र मोदी ने रात 12 बजे बटन दबाकर जीएसटी लागू किया.
देश भर में 17 इनडायरेक्ट टैक्सों की जगह सिर्फ एक टैक्स जीएसटी लागू हो गया है. जीएसटी नें टैक्स के 4 स्लैब रखे गए हैं. पहला स्लैब 5%, दूसरा 12%, तीसरा 18% और चौथा स्लैब 28% का है. कई चीजें जीएसटी के दायरे से बाहर भी रखी गई हैं.