अयोध्या: मुख्यमंत्री बनने के बाद पहली बार अयोध्या पर पहुंचे योगी आदित्यानाथ ने राम मंदिर का राग अलापा. उन्होंने कहा कि राम मंदिर का हल बातचीत से निकालेंगे. योगी ने कहा कि मैं आप सबकी भावनाओं को जानता हूं कि आप क्या जानना चाहते हैं. राम मंदिर का हल वार्ता से निकालने के लिए सरकार दोनों पक्षों में मध्यस्थता कराने को तैयार है. उन्होंने कहा कि कुछ लोग एकता के मार्ग में बाधा पैदा कर रहे हैं.
राम जन्मभूमि न्यास के अध्यक्ष महंत नृत्य गोपालदास के जन्मोत्सव पर योगी ने कहा कि अयोध्या से भगवान श्रीराम का नाम जुड़ा है. यहां आने पर हर कोई जय श्री राम कहता है. अयोध्या में रामलीला होनी चाहिए. सरयू जी की रोज आरती होनी चाहिए. पहले की सरकारों ने अयोध्या में परिक्रमा मार्ग को बंद करने की कोशिश की.
सीएम योगी ने कहा कि लखनऊ में कई मुस्लिम संगठनों ने राम जन्मभूमि हिंदू समाज को सौंपने की पहल की है. यह बात मुझे बहुत अच्छी लगी. जो लोग देश का विकास नहीं चाहते वो लोग एकता में बाधा पैदा करने की कोशिश करेंगे. पहले अयोध्या की उपेक्षा होती रही है लेकिन अब हम अयोध्या के विकास के लिए 350 करोड़ देंगे. बिजली की कमी नहीं होगी, LED से अयोध्या रोशन होगा.
संत राजूदास बलराम दास ने इंडिया न्यूज से बातचीत में कहा कि उन्होंने सीएम योगी से राम मंदिर बनाने को लेकर बातचीत की तो योगी ने कहा कि मंदिर यहीं बनेगा. योगी ने सरयू घाट की पूजा-अर्चना की और सरयू आरती में भी हिस्सा लिया. उन्होंने घाटों का दौरा भी किया और सरयू तट की सीढ़ियों को दुरुस्त करने के निर्देश दिए.
अयोध्या दौरे की शुरुआत सीएम योगी ने हनुमानगढ़ी मंदिर से की. जब वो दर्शन कर यहां से निकले तो संतों ने रामलला हम आएंगे, मंदिर वहीं बनाएंगे के नारे लगाए. सीएम योगी ने हनुमानगढ़ी मंदिर के गर्भ-गृह में पूजा-अर्चना की. इस दौरान भी मंदिर के अंदर जय श्री राम के नारे गुंजते रहे.
बता दें सीएम योगी राम भक्त हैं और पहले भी कई बार आयोध्या जा चुके हैं लेकिन मुख्यमंत्री बनने के बाद पहली बार सीएम आयोध्या पहुंचे हैं. इतना ही नहीं 6 दिसंबर 1992 को अयोध्या में बाबरी ढांचा गिराए जाने के बाद योगी आदित्यनाथ राज्य के दूसरे मुख्यमंत्री हैं जो आज अयोध्या में रामलला का दर्शन करेंगे. इससे पहले साल 2002 में मुख्यमंत्री रहते राजनाथ सिंह ने दर्शन किया था. इसके बाद से कोई भी मुख्यमंत्री अयोध्या नहीं पहुंचा है.
वैसे तो योगी का अयोध्या जाना तो तय था लेकिन बाबरी विध्वंस केस में बीजेपी के वरिष्ठ नेताओं पर आरोप तय होने के तुरंत बाद अयोध्या दौरा कई सियासी संदेश भी दे रहा है. कयास ये भी लगाए जा रहे हैं कि हो सकता है कि इसका संबंध भविष्य में योगी की चुनावी यात्रा से भी जुड़ा हो.