ये हैं पिछले 10 सालों में हुए बड़े नक्सली हमले, जिसने देश को झकझोर कर रख दिया

देश में नक्सली हिंसा को कम करने के लिए सरकार लाख उपाय कर रही है, मगर अफसोस कि हमारे देश में नकस्ली हमलों का सिलसिला कायम है. पिछले कुछ सालों से लगातार नक्सली हमलों ने हमारे देश की सुरक्षा को झकझोर दिया है. कभी-कभी ऐसा लगता है कि हमारे देश सी सबसे बड़ी समस्या आतंकवाद नहीं, बल्कि नक्सलवाद है. पिछले एक दशक में ऐसे कई बड़े नक्सली हमले हुए हैं, जिसमें हमारे देश के असंख्य जवान मारे गये हैं.

Advertisement
ये हैं पिछले 10 सालों में हुए बड़े नक्सली हमले, जिसने देश को झकझोर कर रख दिया

Admin

  • April 24, 2017 2:22 pm Asia/KolkataIST, Updated 8 years ago

नई दिल्ली: देश में नक्सली हिंसा को कम करने के लिए सरकार लाख उपाय कर रही है, मगर अफसोस कि हमारे देश में नकस्ली हमलों का सिलसिला कायम है. पिछले कुछ सालों से लगातार नक्सली हमलों ने हमारे देश की सुरक्षा को झकझोर दिया है. कभी-कभी ऐसा लगता है कि हमारे देश सी सबसे बड़ी समस्या आतंकवाद नहीं, बल्कि नक्सलवाद है. पिछले एक दशक में ऐसे कई बड़े नक्सली हमले हुए हैं, जिसमें हमारे देश के असंख्य जवान मारे गये हैं.  

आज हम आपको पिछले कुछ सालों में हुए देश में बड़े नक्सली हमलों के बारे में बताते हैं कि आखिर किन-किन नक्सली हमलों ने हमारे देश की सुरक्षा को झकझोर दिया है. 
 
24 अप्रैल, 2017 : छत्तीसगढ़ के सुकमा में नक्सलियों ने सीआरपीएफ के जवानों पर हमला कर दिया. नक्सलिओं के साथ एनकाउंटर में सीआरपीएफ के 24 जवान शहीद हो गए. शहीद हुए जवान सीआरपीएफ की 74वीं बटालियन के थे. ये नक्सली हमला बुर्कापाल चिंतागुफा इलाके में हुआ.
 
12 मार्च, 2017 : सुकमा में ही हुए एक और नक्सली हमले में 12 सीआरपीएफ जवान नक्सली शहीद हो गये थे. इतना ही नहीं, इस हमले के बाद जवानों के हथियार छीन लिये गये थे. इस हमले में शहीद होने वाले 219 सीआरपीएफ बटालियन के थे. जहां ये हमला हुआ ये छत्तीसगढ़ की राजधानी से 450 किलोमीटर दूर स्थित है.
 
11 मार्च, 2014 : छत्तीसगढ़ के सुकमा जिले को नक्सलिओं का गढ़ माना जाता है. इस नस्कली हमले में 15 जवान शहीद हो गये थे. 
 
28 फरवरी, 2014 : छत्तीसगढ़ के दंतेवाड़ा जिले में पुलिस जवानों के ऊपर नक्सलियों ने हमला कर दिया था, जिसमें 6 पुलिस जवान शहीद हो गये थे. इसमें एक एसएचओ भी थे. 
 
2 जुलाई, 2013 : झारखंड के दुमका में एक हमले में पाकुड़ के पुलिस अधीक्षक सहित पांच पुलिसकर्मी मारे गए. 
 
25 मई 2013 : छत्तीसगढ़ की दारभा घाटी में हुए नक्सल हमले में पूर्व मंत्री महेन्द्र कर्मा और छत्तीसगढ़ कांग्रेस प्रमुख नंद कुमार पटेल सहित कांग्रेस के 25 नेता मारे गए.
 
18 अक्टूबर, 2012 : बिहार के गया जिले में बारूदी सुरंग विस्फोट और मुठभेड़ में सीआरपीएफ के छह जवान शहीद हुए थे और आठ कर्मी घायल हो गए.
 
29 जून 2010 : छत्तीसगढ़ के नारायणपुर जिले में नक्सलियों ने घात लगाकर हमला किया, जिसमें सीआरपीएफ के कम से कम 26 जवान शहीद हो गये थे.
 
23 जून 2009 : मोटरसाइकिल सवार सशस्त्र नक्सल विद्रोहियों ने बिहार के लखीसराय जिला अदालत परिसर में गोलीबारी की और रांची के स्वयंभू जोनल कमांडर सहित अपने चार नक्सली छुड़ा ले गए.
 
16 जून 2009 : माओवादियों ने सशस्त्र हमले के बाद किए गए बारूदी सुरंग विस्फोट में 11 पुलिस अधिकारियों की जान ले ली. पलामू जिले के बेहराखंड में माओवादियों के एक अन्य हमले में चार पुलिसकर्मी शहीद हो गये थे और दो अन्य घायल हो गए.
 
13 जून 2009 :   नक्सलियों ने बोकारो से लगे एक छोटे से कस्बे में दो बारूदी सुरंग में विस्फोट और बम हमले किए, जिसमें 10 पुलिसकर्मी शहीद हुए थे और कई अन्य घायल हो गए.
 
10 जून 2009 : झारखंड के सारंदा जंगलों में एक नियमित गश्ती दल पर माओवादियों द्वारा घात लगाकर किए गए हमले में सीआरपीएफ के जवान एवं अधिकारी सहित नौ पुलिसकर्मी शहीद हो गये थे.
 
22 मई 2009 :  माओवादियों ने महाराष्ट्र के गढ़चिरौली जिले में स्थित जंगलों में 16 पुलिसकर्मियों की हत्या कर दी. 
 
22 अप्रैल 2009 : माओवादियों ने झारखंड में एक ट्रेन को हाईजैक कर लिया जिसमें करीब 300 लोग सवार थे. फरार होने से पहले इसे जबरन लातेहार जिला ले गए.
 
13 अप्रैल 2009 :  पूर्वी ओडि़शा के कोरापुट जिले में एक बॉक्साइट खान में हुए माओवादी हमले में अर्धसैनिक बल के 10 जवान शहीद हो गये थे. 
 
16 जुलाई 2008 : ओडि़शा के मल्कानगिरि जिले में एक बारूदी सुरंग में हुए विस्फोट से एक पुलिस वाहन के  चिथड़े-चिथड़े उड़ गए थे.  इस हमले में 21 पुलिसकर्मी शहीद हो गये थे. 
 

Tags

Advertisement