गाजियाबाद : आप भी अगर मासाहारी खाने के शौकिंन हैं तो आज की हमारी ये खबर आपके लिए खास हो सकती है, काफी समय से हड़ताल के चलते चिकन और कबाब के भाव में तेजी आ गई है.
गौरतलब है की अवैध बूचड़खानों पर योगी सरकार की कार्रवाई का फैसला अब धीरे धीरे यूपी में बड़ा मुद्दा बनता जा रहा है. आज से मीट कारोबारियों की राज्यव्यापी हड़ताल के चलते. अकेले लखनऊ में ही तकरीबन पांच हजार से ज्यादा दुकानें बंद कर दी गईं. शहर के टुंडे के कबाब जैसे कई मशहूर नॉनवेज रेस्तरां बंद हो गए.
अब चिकन और कबाब खाने के लिए आपको ज्यादा जेब ढीली करनी पड़ेगी, यहां तक की नॉन वेज रेस्टोरेंट पर भी कबाब और चिकन के भाव बढ़ गए हैं. हड़ताल के कारण अधिकतर चिकन और मटन शॉप बंद है, ऐसे में रेस्टोरेंट पर कबाब और चिकन मिल तो रहा है लेकिन इसकी कीमत में बढ़ोतरी के साथ इसे बेचा जा रहा है.
गाजियाबाद में रेस्टोरेंट मालिकों का कहना है की जो चिकन पहले 150 रुपए किलो मिल रहा था वो अब 200 से अधिक दाम पर बेचा जा रहा है. वहीं मटन की बात करें तो 450 रुपए किलो से उसके दाम 500 से अधिक दाम पर बेचा जा रहा है. ऐसे में नॉन वेज रेस्टोरेंट पर सन्नाटा पसर गया है, क्यूंकि माल नहीं आने से कैसे कबाब या चिकन सर्व करें. जो रेस्टोरेंट कर भी रहे हैं उनका कहना है की अब नुकसान से दो चार होना पड़ेगा, या तो प्रति प्लेट दाम बढ़ने होंगे.
एक दिन की हड़ताल के बाद ये असर हुआ है तो आने वाले दिनों में क्या हाल होगा, तो आगे वाले दिनों में या तो इसकी कीमतों में उछाल देखने को मिलेगा या चो यहह पूरी तरह से बंद हो जाएगा.