नई दिल्ली: नोटबंदी के बाद से सरकार लोगों को लेनदेन के लिए डिजिटल प्लेटफॉर्म का इस्तेमाल करने के लिए प्रोत्साहित कर रही है. डिजिटल पेमेंट के लिए लिए भी आपको अपने मोबाइल में अलग-अलग कंपनियों के ऐप डाउनलोड करने की जरूरत नहीं है.
कैशलैस लेनदेन के लिए सरकार आधार पेमेंट ऐप को प्रमोट कर रही है जिससे आप कई अकाउंट के जरिए पेमेंट कर सकते हैं. इस ऐप का इस्तेमाल कर आप बिना इंटरनेट अपने किसी भी अकाउंट से पेमेंट कर सकते हैं. इसके लिए आपको अपना 12 अंकों का आधार नंबर इस्तेमाल करना होगा.
क्या है आधार पेमेंट ऐप?
इस ऐप के जरिए दुकानदार ग्राहक के आधार नंबर के जरिए उसके बैंक अकाउंट से अपने बैंक अकाउंट में पैसे ट्रांस्फर कर सकता है. इस तरह के हर लेनदेन में ग्राहक की फिंगरप्रिट का इस्तेमाल होगा. इसके लिए ग्राहक का आधार नंबर बैंक अकाउंट से जुड़ा होना अनिवार्य है.
सुरक्षा को लेकर क्या है चिंताएं?
ये ऐप पेमेंट के लिए दो खास प्लेटफॉर्म का इस्तेमाल करेगा. पहला आधार कार्ड ब्रिज यानी (APB) और दूसरा आधार आधारित पेमेंट सिस्टम यानी (AEPS). एपीबी बैंक और ग्राहकों के बीच लेनदेन की प्रक्रिया को आसान बनाएगा जबकि एईपीएस ऑनलाइन प्रोसेस पर निगरानी रखेगा.
ग्राहकों को इस ऐप से कैसे होगा फायदा?
ग्राहकों को ऑनलाइन पेमेंट के लिए डेबिट या क्रेडिट कार्ड की जरूरत नहीं होगी.
ग्राहकों और दुकानदारों को ऑनलाइन पेमेंट के लिए स्वाइप मशीन की भी जरूरत नहीं होगी.
ऑनलाइन पेमेंट के लिए इंटरनेट की भी जरूरत नहीं होगी.
लोगों को ऑनलाइन पेमेंट के लिए अपने मोबाइल में तरह-तरह के डिजिटल ई-वॉलेट ऐप रखने की जरूरत नहीं होगी.
आप कैसे कर सकते हैं इस ऐप का इस्तेमाल?
एंड्रॉयड यूजर्स प्ले स्टोर से और आईफोन यूजर्स आई ट्यूंस से इस ऐप को डाउनलोड कर सकते हैं. दुकानदार अपने आधार नंबर और फिंगर प्रिंट को स्कैन करके ऐप में लॉगिन कर सकते हैं. जैसे ही आधार नंबर और फिंगर प्रिंट वेरिफाई होता है उसके बाद से दुकानदार इस ऐप को लेनदेन के लिए इस्तेमाल कर सकते हैं.
इस ऐप में ही अकाउंट समरी और पेमेंट संबंधी सभी जानकारियां होंगी जिसे पेमेंट ऑप्शन में ग्राहक का आधार नंबर डालकर
प्राप्त किया जा सकता है. जैसे ही आप ग्राहक का आधार नंबर ऐप में डालेंगे वैसे ही वो उन तमाम बैंकों की जानकारी देगा जिससे पेमेंट की जा सकती है.
हालांकि आपको ध्यान रखना होगा कि वही अकाउंट ऐप में दर्ज होंगे जिन्हें आपने बैंक अकाउंट से जोड़ा होगा. इसके अलावा पेमेंट के लिए ग्राहक के फिंगर प्रिंट की आवश्यक्ता होगी. फिंगर प्रिंट स्कैन होने के बाद ही पेमेंट किया जा सकेगा.