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जयललिता की अनसुनी कहानी, जयललिता की जुबानी

जयललिता हमेशा-हमेशा के लिए दुनिया को अलविदा कह गईं. उनकी आखिरी विदाई पर हर आंख से आंसू निकल आए. उनकी अंतिम यात्रा में जन सैलाब उमड़ पड़ा. जहां तक नजर जाए वहां तक सिर्फ और सिर्फ सिर ही नजर आते थे.

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  • December 6, 2016 5:05 pm Asia/KolkataIST, Updated 8 years ago
नई दिल्ली: जयललिता हमेशा-हमेशा के लिए दुनिया को अलविदा कह गईं. उनकी आखिरी विदाई पर हर आंख से आंसू निकल आए. उनकी अंतिम यात्रा में जन सैलाब उमड़ पड़ा. जहां तक नजर जाए वहां तक सिर्फ और सिर्फ सिर ही नजर आते थे. जयललिता की आखिरी झलक पाने के लिए हर कोई बेताब था. सब एक आखिरी ‘अम्मा’ के दर्शन करना चाहते थे. 
 
वो अम्मा जिसने अपने जीवन को एक उदाहरण की तरह पेश किया. बचपन से लेकर सीएम बनने तक, जयललिता ने हर तरफ अपनी मौजूदगी का अहसास कराया. वो स्कूल में पढ़ीं, तो अव्वल आईं. फिल्म में एंट्री की, तो लोहा मनवाया और सियासत में भी उन्होंने मुकाम हासिल किया.
 
लेकिन जयललिता का जीवन उतार-चढ़ाव के संघर्षों से घिरा रहा. जयललिता भले कहती थीं कि उनका जीवन एक खुले किताब की तरह है लेकिन सच ये है कि उनके जीवन में ऐसा बहुत कुछ है, जो आप शायद ही जानते हों.  
 
वीडियो में देखिए जयललिता की अनसुनी कहानी, जयललिता की ही जुबानी

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