नई दिल्ली. भारत ने पूरी तरह स्वदेशी तकनीक से बने ड्रोन विमान रुस्तम-2 का सफल परीक्षण किया है. इसका निर्माण डीआरडीओ ने किया है. ये 250 किलोमीटर तक की रेंज में सटीक निशाना लगा सकता हैं.
इसका सफल परीक्षणकल बेंगलुरु से 250 किलोमीटर दूर चित्रदुर्गा में किया गया. ये टोही विमान निगरानी क्षमता के साथ-साथ लक्ष्य पर सटीक मार करने में भी सक्षम है.
सिंथेटिक अपर्चर राडार होने के कारण ये बादलों के पार भी देख सकता है और अपने लक्ष्य पर निशाना साध सकता है. इतना ही नहीं, ये विमान 30 हजार फीट पर आसानी से ऊंचाई पर उड़ान भर सकता है.
जानकार बताते हैं कि इसे अमरीकी ड्रोन प्रिडेटर की तर्ज पर ही विकसित किया गया है. इसका वजन दो टन है और इस ड्रोन की कई खासियत हैं. इसके डैने की लंबाई लगभग 21 मीटर हैं. यह 24 घंटे उड़ान भरने में सक्षम है.
ये ड्रोन विमान दुश्मनों के इलाके में घुसकर टोह लेने, निगरानी रखने और लक्ष्य की पहचान कर उस पर हमला करने में भी सक्षम है. ये 500 किलोमीटर घंटे प्रति घंटे की रफ्तार से उड़ान भर सकता है.
इसके साथ ही ये दुश्मन की नजर से भी बचा रहेगा. इसमें ऐसे सिस्टम लगे है जो दुश्मन की पकड़ में नही आएंगे. ये दिन के साथ-साथ रात में भी अपना काम आसानी से कर सकता है.