नई दिल्ली. जनवरी 2017 से आप भी 2500 रुपए में हवाई सफर का मजा ले सकेंगे. मोदी सरकार ने देश के अलग-अलग हिस्सों को जोडने के लिए सस्ती फ्लाइट की स्कीम की योजना बनाई है. मोदी सरकार ने इस योजना का नाम ‘उड़ान’ रखा है, इसका पूरा मतलब ‘उड़े देश का आम नागरिक’ है. केंद्र सरकार की ओर से दी गई जानकारी के अनुसार इस स्कीम के तहत पहली फ्लाईट अगले साल जनवरी 2017 में शुरू होने जा रही है.
‘जनवरी 2017 में शूरू होगी उड़ान’
विमानन मंत्री अशोक गजापति राजू ने बताया है कि हमें उम्मीद करते हैं कि जनवरी 2017 से पहली क्षेत्रीय फ्लाइट शुरू हो जाएगी. उन्होंने साथ में इस बात की घोषणा की है कि एक कार्यक्रम में की, इसका आयोजन ‘उड़ान’ के ऐलान के लिए किया गया था. इस स्कीम के तहत देश केअलग-अलग हिस्सों का हवाई किराया 2500 रुपए घंटे तक हो सकता है. विमानन सचिव आरएन चौबे ने बताया है कि इस योजना की औपचारिक घोषणा 31 अक्टूबर 2016 को की जाएगी.
छोटे शहरों को भी जोड़ना है मकसद
सरकार की योजना इस स्कीम के जरिए उन शहरों के लिए हवाई पैसेंजर की संख्या बढ़ाना है जहां बहुत ज्यादा किराया होने की वजह से लोग हवाई यात्रा नहीं कर रहे हैं. छोटे शहरों के लिए जहां पैसेंजर की संख्या कम है वहां एयरलाइन कंपनियां ज्यादा किराया वसूल रही हैं. सरकार की कोशिश इस किराए को नीचे लाने की है.
सरकार ने की वायबलिटी गैप फंड की व्यवस्था
सरकार की इस स्कीम में वायबलिटी गैप फंड और रीजनल कनेक्टिविटी फंड की भी व्यवस्था है. इस फंड से उन एयरलाइन के घाटे की भरपाई सरकार करेगी जो इस स्कीम के तहत कम ट्रैफिक वाले रूट पर भी सस्ते किराए में यात्रियों को ले जाएंगी.वित्त मंत्रालय ने जेट फ्यूल पर 8 परसेंट सेंट्रल एक्साइज ड्यूटी और 4.94 परसेंट सर्विस टैक्स हटाने की हामी भर दी है. 149 रुपए प्रति पैसेंजर वसूला जाने वाला पैसेंजर सर्विस फीस भी माफ किया जा सकता है.
‘उड़ान’ की होंगी ये विशेषताएं
- उड़ान’ (उड़े देश का आम नागरिक) बाजार तंत्र के आधार पर आधारित होगी.
- फ्लाइट में कम से कम 9 सीटें और ज्यादा से ज्यादा 40 सीटें हो सकती हैं.
- फ्लाइट की 50 फीसद सीटें ‘उडान’ किराए के तहत रिजर्व की जाएंगी, इसका किराया 2500 रुपए होगा और बाकी 50 प्रतीशत सीटें बाजार आधारित मूल्य के अनुसार होंगी.
- इस समय देश में तकरीबन 394 विमान सेवाओं से वंचित एयरपोर्ट हैं, वहीं 16 एयरपोर्ट ऐसे हैं जहां सेवाएं बेहद कम हैं.
- सरकार के इस उद्देश्य के पीछे घरेलू विमानन क्षेत्र को प्रोत्साहन देना है, जो यात्रियों की संख्या के लिहाज से 20 प्रतिशत वृद्धि दर्ज कर रहा है.