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शुंगलू कमेटी पर फिर छिड़ी ‘जंग’, LG ने पूछा- सच सामने आने से क्यों डर रही है केजरीवाल सरकार ?

दिल्ली सरकार की मांग और आरोप पर उपराज्यपाल नजीब जंग ने बेहद आक्रामक तेवर के साथ जवाब दिया है. उपराज्यपाल की तरफ से जारी की गई प्रेस रिलीज में कहा गया है कि जनता के सामने 400 फाइलों के पीछे छुपा सच सामने आना चाहिए.

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  • October 14, 2016 5:12 pm Asia/KolkataIST, Updated 8 years ago
नई दिल्ली. दिल्ली सरकार की मांग और आरोप पर उपराज्यपाल नजीब जंग ने बेहद आक्रामक तेवर के साथ जवाब दिया है. उपराज्यपाल की तरफ से जारी की गई प्रेस रिलीज में कहा गया है कि जनता के सामने 400 फाइलों के पीछे छुपा सच सामने आना चाहिए. 
 
‘सच के सामने आने से क्यों डर रही है दिल्ली सरकार’
एलजी ऑफिस की ओर से कहा गया है कि अगर सब कानूनन सही है जैसा कि दावा किया जा रहा है तो दिल्ली सरकार सच के सामने आने से आखिर डर क्यों रही है? कई मामलों में ऐसी गलतियां देखी गई हैं, जिसके चलते वो सीबीआई को जांच के लिए भेज रहे हैं.
 
‘दिल्ली सरकार के मंत्रियों ने भेजी हैं फाइलें’
उपराज्यपाल ने कहा कि मैं हैरान हूं कि शुंगलू समिति को दिल्ली कैबिनेट ने असंवैधानिक बताया है. एलजी ने कहा कि फाइलों को उपराज्यपाल के ऑफिस ने तलब या जब्त नहीं किया है, बल्कि ये वो फाइलें हैं जो खुद दिल्ली सरकार के मंत्रियों ने भेजी हैं, क्योंकि वो खुद मानते हैं कि उसने इन सबमें तय प्रक्रिया का पालन नहीं किया है. 
 
‘अधिकारियों को काम से रोकने के लिए लाया गया रिजॉलुशन’
उपराज्यपाल के मुताबिक, 6 हफ्ते में समिति अगले अपनी रिपोर्ट सौंपेगी. बयान में इस बात पर भी हैरानी जताई है कि तीन सीनियर अधिकारियों की इस समिति को कामकाज से रोकने के लिए ये दूसरा रिजॉलुशन है.
 
‘हमारी फाइलों को जब्त किया गया’
बता दें कि दिल्ली सरकार की कैबिनेट ने एक संकल्प पारित करके दिल्ली के उपराज्यपाल नजीब जंग को शुंगलू समिति भंग करने की मांग की. दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने ये जानकारी प्रेस कॉन्‍फ्रेंस करके दी. मनीष सिसोदिया कहा है कि शुंगलू समिति ने हमारी 400 फाइलें जब्त कर लीं हैं, इसमे बहुत जरूरी फाइलें हैं और इसकी जांच के लिए समिति अफसरों को ऑफ रिकॉर्ड फोन करके बुलाती हैं और अफसरों को पूरे दिन बैठाए रखते हैं. दिल्ली सरकार के पास उपराज्यपाल जी को सलाह देने का अधिकार है. इसलिए हमने उनको सलाह दी की इस समिति को भंग कर दिया जाए.
 
दिल्ली सरकार के फैसलों की जांच के लिए किया गया गठन
बता दें कि उपराज्यपाल ने 30 अगस्त को पूर्व सीएजी वीके शुंगलू की अध्यक्षता में एक तीन सदस्यीय समिति का गठन किया था, जो दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल की सरकार के बीते डेढ़ साल के दौरान सभी फैसलों की जांच करे, फिर इसके बाद अपनी सिफारिश उपराज्यपाल को सौंपे.

फाइलों को 

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