नई दिल्ली. भारत ने जिस दिन पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर (पीओके) में सर्जिकल स्ट्राइक को अंजाम दिया था, उसी दिन ईरानियन बॉर्डर गार्ड्स ने पाकिस्तान के बलूचिस्तान इलाके में हमला कर दिया. इस घटनाक्रम को भारत-ईरान के बीच बेहतर होते रिश्तों से जोड़कर देखा गया है.
जानकारी के अनुसार ईरानी सेना ने बलूचिस्तान इलाके में कई मोर्टार के गोले दागे. ईरान के हमले से पाकिस्तानी सेना हैरान हो गई. इस हमले की वजह से पाकिस्तानी सेना का एक बड़ा हिस्सा पश्चिमी सीमाओं पर चला गया. ईरानी सेना की ओर से की गई इस हरकत के बाद पाकिस्तान ने पश्चिमी सीमा पर अपने जवानों की तैनाती बढ़ा दी. यह घटना तभी हुई, जिस रात भारतीय सेना ने पीओके में सर्जिकल ऑपरेशन चलाया था.
सूत्रों के अनुसार पाकिस्तानी सेना इस बात का पता अभी भी लगा रही है कि ईरान ने आखिर मोर्टार क्यों दागे? पाकिस्तान के बलूचिस्तान प्रांत के गवर्नर ने कहा है कि ईरानी सेना द्वारा दागे गए मोर्टार के गोले बलूचिस्तान के पंजगूर जिले में गिरे. दो गोले पाकिस्तानी फ्रंटियर कॉर्प्स की चेकपोस्ट के पास जाकर गिरे जबकि तीसरा किल्ली करीम दाद इलाके में जाकर गिरा. हालांकि, इस हमले में किसी प्रकार की संपत्ति या जानमाल का नुकसान नहीं हुआ.
मोर्टार हमले के बाद पाकिस्तानी सेना के जवान हालात का जायजा लेने के लिए तुरंत पाकिस्तान-ईरान बॉर्डर पर पहुंचे. रिपोर्ट्स के अनुसार जहां यह घटना हुई, उसे दुनिया के सबसे पिछड़े इलाके में माना जाता है. इसी इलाके में पाकिस्तान द्वारा मानवाधिकार उल्लंघन के मामलों को भारत दुनिया के सामने लाने की कोशिश की है. बता दें कि पाकिस्तान और ईरान के बीच करीब 900 किलोमीटर लंबी सीमा है.