नई दिल्ली. कर्ज नहीं चुकाने के मामले में फंसे उद्योगपति विजय माल्या ने किंगफिशर एयरलाइंस को दिए गए ऋण का निपटारा करने के लिए सिंतबर तक बैंको को 4,000 करोड़ रुपये देने की पेशकश की थी. माल्या की ओर से दिए गए इस प्रस्ताव को बैंकों ने ठुकरा दिया है. यह जानकारी बुधवार को सुप्रीम कोर्ट में दी गई. बता दें कि माल्या ने पेशकश की थी कि यदि उन्हें बहुराष्ट्रीय कंपनी जनरल इलेक्ट्रिक के खिलाफ किए गए मुकदमे में जीत मिलती है तो वह उससे हासिल होने वाली 4,000 करोड़ रुपये की राशि देने को तैयार हैं.
कोर्ट ने उनसे तीन अहम जानकारियां मांगी हैं-
- दो हफ्ते के भीतर माल्या अपनी और परिवार की देश-विदेश में चल-अचल संपत्ति का ब्योरा दें.
- माल्या बताए कि वह कोर्ट में खुद कब पेश हो सकते हैं.
- ये दिखाने के लिए कि वह लोन चुकाना चाहते हैं कितनी रकम कोर्ट में जमा करा सकते हैं.
वकीलों ने कोर्ट में क्या कहा?
बैंकों के वकीलों ने सुप्रीम कोर्ट में कहा कि माल्या अपनी सभी चल अचल संपत्तियों की जानकारी सुप्रीम कोर्ट को दें, जिनमें देश-विदेश में और परिवार के सभी सदस्यों की संपत्ति शामिल है. किसी भी तरह के समझौते के लिए विजय माल्या का उपस्थिति जरूरी है और उनके सामने रहने पर ही समझौता हो सकता है. बैंक इस मामले में माल्या से नेगोशिएशन करने को तैयार हैं। सुप्रीम कोर्ट ने माल्या से 21 अप्रैल तक इसका जवाब मांगा है और बैंकों से 25 अप्रैल तक. अगली सुनवाई 26 अप्रैल को होगी.
बैंकों ने मांगा था एक सप्ताह का समय
माल्या के वकील ने अदालत से कहा था कि भारतीय स्टेट बैंक (एसबीआई) के मुख्य महाप्रबंधक को सितंबर तक 4,000 करोड़ रुपये का भुगतान करने का प्रस्ताव पेश किया गया है. एसबीआई ने अदालत से कहा कि माल्या के प्रस्ताव पर विचार करने के लिए उसे एक सप्ताह का समय चाहिए. बैंक ने यह भी कहा कि 2013 में उसने एक मुकदमा दाखिल कर 6,903 करोड़ रुपये और भुगतान किए जाने की तिथि तक उस पर ब्याज की मांग की थी.
9000 करोड़ के कर्ज में डूबे हैं माल्या
विजय माल्या, किंगफिशर एयरलाइंस, युनाइटेड ब्रेवेरीज होल्डिंग्स और किंगफिशर फिनवेस्ट इंडिया ने सुप्रीम कोर्ट में लोन चुकाने के लिए ऑफर के दस्तावेज जमा किए थे. गौरतलब हो कि विजय माल्या और किंगफिशर एयरलाइंस ने 17 बैंको से 9000 करोड़ का कर्ज लिया था.
‘माल्या अब भी विदेश में’
अदालत द्वारा बैंक से माल्या के मौजूदा ठिकानों के बारे में पूछे जाने पर बैंक ने कहा कि माल्या अब भी विदेश में हैं और भारत से लंदन जाने के बाद उन्होंने बैंक के अधिकारियों के साथ दो वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिए दो मुलाकातें की हैं. माल्या और किंगफिशर एयरलाइंस पर बैंकों के गठजोड़ का 9,000 करोड़ रुपये का कर्ज बकाया है. अकेले एसबीआई को ही कंपनी से 1,600 करोड़ रुपये से अधिक वसूलने हैं.