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‘रैली में मौजूद भीड़ ने गजेंद्र को आत्महत्या के लिए उकसाया’

किसान आत्महत्या मुद्दे पर लोकसभा में 12 बजे तक कार्यवाही स्थगित होने के बाद आज गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने सरकार की तरफ से जवाब दिया. सत्ता पक्ष और विपक्षी सांसदों के सवालों का जवाब देते हुए गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा कि राजस्थान के किसान की एक रैली के दौरान जंतर मंतर पर मौत का मामला बेहद शर्मनाक और दुर्भाग्यपूर्ण है.

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  • April 23, 2015 9:04 am Asia/KolkataIST, Updated 10 years ago

नई दिल्ली. किसान आत्महत्या मुद्दे पर लोकसभा में 12 बजे तक कार्यवाही स्थगित होने के बाद आज गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने सरकार की तरफ से जवाब दिया. सत्ता पक्ष और विपक्षी सांसदों के सवालों का जवाब देते हुए गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा कि राजस्थान के किसान की एक रैली के दौरान जंतर मंतर पर मौत का मामला बेहद शर्मनाक और दुर्भाग्यपूर्ण है.

गृह मंत्री ने घटनास्थल पर और उसके बाद दिल्ली पुलिस ने इस मामले में क्या कार्रवाई इसका सिलसिलेबार ब्यौरा सदन में रखा. राजनाथ ने कहा,

यह घटना बहुत दुखद है. भीड़ ने गजेंद्र को ताली बाजकर उकसाया. खुदकुशी के लिए उकसाने का मामला दर्ज कर लिया गया है. मामला क्राइम ब्रांच को सौंपा जा चुका है. पुलिस को मैंने इस संबंध में समयबद्ध जांच करने के निर्देश भी दिए हैं. मामला आईपीसी धारा 306,186, 34 के तहत दर्ज किया गया है.

उन्होंने कहा, जब तक किसान धनवान नहीं होगा, तब तक हिन्दुस्तान भी धनवान नहीं हो सकता. किसानों की हालत तभी सुधरेगी जब उनके बच्चों को रोजगार मिलेगा, हमारी सरकार स्किल डेवलपमेंट की दिशा में काम कर रही है. साथ ही सरकार कई योजनाएं भी चला रही है. दीपेंद्र हुड्डा के सवाल पर राजनाथ सिंह ने कहा कि आपने कहा कि हमारी सरकार ने किसानों का कर्ज माफ किया, लेकिन बता दूं वह चुनावों की वजह से माफ हुआ था, प्राकृतिक आपदा की वजह से नहीं. हमारी सरकार किसानों के साथ खड़ी है। हमने मुआवजा डेढ़ गुना बढ़ाया है.

इससे पहले कांग्रेस सांसद दीपेन्द्र हुड्डा, सपा सांसद मुलायम सिंह यादव, आप सांसद भगवंत मान समेत सभी दलों के नेताओं ने चर्चा में भाग लेते हुए अपनी-अपनी बात रखी. लगभग सभी दलों के सांसदों ने कहा कि राजनीतिक दलों, नेताओं, मीडिया, पुलिस और समाज सबको गजेन्द्र की मौत पर मानवीय दृष्टिकोण से सोचना चाहिए. राजनीति से ऊपर उठकर इस मुद्दे पर बात होनी चाहिए. कोई एक व्यक्ति इस घटना के लिए जिम्मेदार नहीं हो सकता. हम सब, पूरी व्यवस्था किसान की मौत के लिए जिम्मेदार है. 

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