दिल्ली समेत देश के 13 शहरों में डीजल गाड़ियों पर बैन को लेकर दायर जनहित याचिका पर सुप्रीम कोर्ट 15 दिसंबर को सुनवाई के लिए तैयार हो गया है. साल 2013 में दायर की गई इस जनहित याचिका के आधार पर सुप्रीम कोर्ट यह तय करेगा कि देश के बड़े शहरों में डीज़ल गाड़ियों पर रोक लगाई जा सकती है या नहीं.
नई दिल्ली. दिल्ली समेत देश के 13 शहरों में डीजल गाड़ियों पर बैन को लेकर दायर जनहित याचिका पर सुप्रीम कोर्ट 15 दिसंबर को सुनवाई के लिए तैयार हो गया है.
साल 2013 में दायर की गई इस जनहित याचिका के आधार पर सुप्रीम कोर्ट यह तय करेगा कि देश के बड़े शहरों में डीज़ल गाड़ियों पर रोक लगाई जा सकती है या नहीं.
ऑड-ईवन फॉर्मूला: दिल्ली में चलाई जाएंगी 6,000 अतिरिक्त बसें
याचिकाकर्ता की ओर से चीफ जस्टिस की बेंच के सामने कहा गया कि 2002 में दिल्ली में कमर्शियल वाहनों में डीजल पर सुप्रीम कोर्ट ने बैन लगाय था, लेकिन 2015 में डीजल कारों की वजह से हालात बदतर हो गए हैं.
चीफ जस्टिस ने कहा कि इस मामले पर सुनवाई 15 दिसंबर को ही करेंगे. इसी दिन सुप्रीम कोर्ट इस मामले में केंद्र और दिल्ली सरकार के एक्शन प्लान पर भी सुनवाई करेगा. बता दें कि गुरुवार को सुनवाई में एमिकश क्यूरी हरीश साल्वे नें मांग की थी कि डीजल गाडियों पर बैन लगाया जाना चाहिए.