नई दिल्ली: भारत में इस वक्त मानसून चल रहा है, बारिश में डिप्रेशन की एक अजीबोगरीब समस्या सामने आ रही है जिसे मानसून डिप्रेशन कहते हैं। बारिश का मौसम अपने साथ खुशनुमा और हरियाली लेकर आता है, लेकिन कुछ लोगों में इसका डिप्रेशन होता है। बरसात का डिप्रेशन जिसे मानसून डिप्रेशन के नाम से जाना […]
नई दिल्ली: भारत में इस वक्त मानसून चल रहा है, बारिश में डिप्रेशन की एक अजीबोगरीब समस्या सामने आ रही है जिसे मानसून डिप्रेशन कहते हैं।
बारिश का मौसम अपने साथ खुशनुमा और हरियाली लेकर आता है, लेकिन कुछ लोगों में इसका डिप्रेशन होता है। बरसात का डिप्रेशन जिसे मानसून डिप्रेशन के नाम से जाना जाता है। ऐसे लोगों को बारिश का मौसम आते ही तनाव और चिंता होने लगती हैं।
-बारिश के मौसम में धूप सही से नहीं निकल पाती इस वजह से लोगों को पर्याप्त मात्रा में विटामिन-डी नहीं मिल पाता , विटामिन डी की कमी से डिप्रेशन बढ़ सकता है।
-जब भी मौसम में बदलाव होता है तो इंसानों के शरीर में भी कई बदलाव देखे जाते हैं, खासतौर पर लड़कियों में हार्मोनल चेंजेस जरूर होते हैं।
-मानसून में ह्यूमिडिटी लेवल बढ़ जाता है, नमी के कारण भी इंसान में डिप्रेशन आ सकता है।
-बारिश के मौसम में लोग घरों मे ज्यादा रहते हैं, जो लोग हमेशा बाहर घूमना या समाज में घुल-मिलकर रहते हैं और अचानक घर में कैद हो जाते हैं तो उनमें भी ये डिप्रेशन हो सकता हैं।
1.हमेशा उदास और निराश पूर्ण भावना का आना।
2.शरीर में एनर्जी कम महसूस करना।
3.किसी भी काम में मन न लगना।
4.अकेले रहना पसंद करने वाले लोग भी इसके शिकार होते हैं।
5.भूख और नींद में कमी होने से भी इसका एक लक्षण है।
6.घबराहट, डर और चिंता होना।
बचाव के लिए इन टिप्स को फॉलो करें
-रोजाना कुछ समय के लिए बाहर जाए ताकि शरीर पर धूप पड़ सके।
-मूड में बदलाव के लिए एक्सरसाइज करनी चाहिए।
-अच्छा, पौष्टिक और संतुलित भोजन का सेवन करें, अपनी डाइट में हर तरह की फलों और सब्जियों को शामिल करें।
-पर्याप्त नींद लेने से मानसिक शांति मिलती है।
-अपनों से जुड़े रहे, यदि आप अपने परिवार और प्रियजनों से दूर रहते हैं तो उनसे फोन कॉल के जरिए रोज कनेक्ट करें।
-अपनी भावनाओं दबाएं नहीं उन्हें अपने साथी और दोस्तों के सामने व्यक्त करें।