नई दिल्ली: एक महिला के लिए बच्चे को जन्म देना इतना असान बात नहीं होता है, यह प्रक्रिया ऐसी होती है कि समझो कि महिला का दूसरा जन्म होता है.
नई दिल्ली: एक महिला के लिए बच्चे को जन्म देना इतना असान बात नहीं होता है, यह प्रक्रिया ऐसी होती है कि समझो कि महिला का दूसरा जन्म होता है. यही वजह है कि प्रेग्नेंसी के समय डॉक्टर भी विशेष रूप से देखभाल रखने की सलाह देते हैं. इसके लिए महिला को उचित खानपान के साथ आराम करने की सलाह भी दी जाती है, लेकिन चीन में प्रेग्नेंसी को लेकर एक ऐसी बात सामने आ रहे हैं जिनको जानकर किसी का भी दिमाग हिल जाएगा.
चीनी कल्चर में प्रेग्नेंसी की देखभाल करने के कुछ बेहत अजीब नुस्खे बताए गए हैं, यहां के एक प्राचीन साहित्य ताइचांशु में भी इसको लेकर जिक्र किया गया है. इस ग्रंथ के मुताबिक प्रेग्नेंसी के चार माह के बाद भ्रूण को पानी दिया जाता है और इस अवस्था में सबसे पहले खून बनने की प्रक्रिया शुरू होता है. इसमें बताया गया कि इस अवस्था में कीचड़, चावल और गेहूं में पाई जाने वाली ईल सबसे अधिक पोष्टिक पदार्थ होते हैं. इन चीजों में पाए जाने वाले पोषक तत्व जो आंखों की चमक के साथ रोशनी बढ़ाने के काम करते हैं.
चीन में प्रचलित एक मिथक के मुताबिक जिन महिलाओं के कोख में भ्रूण पल रहा होता है, उनको सफेद बालों वाले कुत्ते का सिर उबालकर खाने के लिए देना चाहिए. इसको चीनी भाषा में बायमुगौ कहकर पुकारा गया है. मान्यता है कि ऐसा करने से बच्चा स्वस्थ होगा, जबकि अभी के समय में कोई भी डॉक्टर ऐसा करने की सलाह नहीं देगा. यही नहीं चीन कल्चर में प्रेग्नेंट महिलाओं से जुड़े कई ऐसी कई मान्याताएं हैं, जिसको जानकर आपका दिमाग हिल जाएगा.
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