8वीं तक पढ़े अमन ने किया अनोखा कारनामा, जवानों के लिए बनाई रोबोटिक गन, अब दुश्मन होंगे ढेर

नई दिल्ली: देश में कई लोग कभी-कभी अपने कारनामों से हमें हैरत में डाल देते हैं। परंतु कुछ लोग ऐसे कारनामे दूसरों की भलाई के लिए भी करते हैं। ऐसा ही एक अनोखा कारनामा 8वीं तक पढ़े अमन ने भी कर के दिखाया है। अमन ने 5 किलोमीटर दूर से दुश्मनों पर निशाना साधने वाली […]

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8वीं तक पढ़े अमन ने किया अनोखा कारनामा, जवानों के लिए बनाई रोबोटिक गन, अब दुश्मन होंगे ढेर

Aprajita Anand

  • July 1, 2024 1:42 pm Asia/KolkataIST, Updated 5 months ago

नई दिल्ली: देश में कई लोग कभी-कभी अपने कारनामों से हमें हैरत में डाल देते हैं। परंतु कुछ लोग ऐसे कारनामे दूसरों की भलाई के लिए भी करते हैं। ऐसा ही एक अनोखा कारनामा 8वीं तक पढ़े अमन ने भी कर के दिखाया है। अमन ने 5 किलोमीटर दूर से दुश्मनों पर निशाना साधने वाली एक रोबोटिक गन को जुगाड़ की वस्तुओं से तैयार कर सबको हैरान कर दिया है। अमन ने कुल ₹6000 के कबाड़ से यह रोबोटिक गन तैयार की है। आइए जानते हैं इस गन की कुछ खास बातें।

कड़ी मेहनत के बाद तैयार की रोबोटिक गन

जानकारी के मुताबिक अमन ने कबाड़ से जुगाड़ की परिपाटी पर इस रोबोटिक गन को डिजाइन किया है। इस को बनाने में दो महीने तक का समय और अमन की कड़ी मेहनत भी लगी। आर्थिक रूप से तंगी के चलते अमन को इस काम में उसके पिता दर्शनलाल कालरा, भाजपा विधायक सचिन बिरला, आबकारी विभाग के असिस्टेंट कमिश्नर अभिषेक तिवारी ने अपना योगदान किया। ये रोबोटित गन 5 किलोमीटर दूर से दुश्मनों पर निशाना साध सकती है। जुगाड़ की वस्तुओं से इस गन को तैयार किया गया है। इस रोबोटिक गन को मोटरपंप, मोबाइल ब्ल्यूटूथ, आर्डिनो और लकड़ी के मॉडल से तैयार किया गया है।

रोबोटिक गन की खासियत

5 किलोमीटर दूर से दुश्मनों पर निशाना साधने वाली इस रोबोटिर गन को काफी सारी जुगाड़ की वस्तुओं से बनाया गया है। जानकारी के मुताबिक इस मामले में अमन कालरा का कहना है कि उन्होंने पिछले साल एक रोबोट का निर्माण किया था। इसके बाद अब उन्होंने एक डिफेंस के लिए रोबोट तैयार किया है। ये रोबोट सेना के लिए बेहद उपयोगी है। इसमें दुनिया के किसी भी प्रकार की गन अटैच की जा सकती है। मोबाइल एवं ब्लूटूथ के माध्यम से इसे संचालित कर 5 किलोमीटर दूर से चलाया जा सकता है। अमन को इस गन का निर्माण करने में 2 महीने का समय लगा। इस गन को बनाने में कुल ₹6000 की लागत लगी है। इसके बनाने में अमन के पिता दर्शनलाल कालरा और आबकारी विभाग के अभिषेक तिवारी जी ने सहायता की है। अमन आगे कहता है कि उसकी माननीय मुख्यमंत्री जी से यह अपील है कि कृपया मेरी आर्थिक रूप से मदद करें। ऐसा करने से मैं देश के लिए और भी अच्छे रोबोट तैयार कर देश की सहायता करूंगा।

कौन हैं अमन

अमन कालरा मध्य प्रदेश के खरगोन जिला मुख्यालय से करीब 90 किलोमीटर दूर बड़वाह तहसील के छोटे कस्बे बांसवा के रहने वाले हैं। अमन कालरा का दिमाग किसी वैज्ञानिक दिमाग से कम नहीं है। दिग्गज डिग्रीधारियों को पछाड़ कर अमन आठवीं तक पढ़े और देश के जांबाज सिपाहियों के लिए एक ऐसा रोबोट तैयार कर दिखाया जिससे दुश्मन भी मारा जाए और हमारे जवानों को भी कोई नुकसान न हो। अमन को कलेक्टर शिवराज सिंह वर्मा ने पुरस्कृत भी किया गया था क्योंकि अमन ने इस से पहले भी कई रोबोट तैयार किए हैं। असिस्टेंट कमिश्नर अभिषेक तिवारी का कहना है कि हमने अमन की छोटी सी मदद की है। अमन की सहायता के लिए हम कलेक्टर साहब से भी युवक को सहयोग करने की बात कहेंगे।

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