नई दिल्ली: कनाडा सरकार ने अंतरराष्ट्रीय छात्रों के लिए पोस्टग्रेजुएट वर्क परमिट (PGWP) की पात्रता को लेकर नए सख्त दिशा-निर्देश जारी किए हैं। ये दिशा-निर्देश खासकर उन छात्रों पर लागू होंगे, जो कम अवधि के कॉलेज पाठ्यक्रमों को पूरा कर रहे हैं। वहीं ये नए नियम 1 नवंबर 2024 से प्रभावी होंगे। नए नियमों के […]
नई दिल्ली: कनाडा सरकार ने अंतरराष्ट्रीय छात्रों के लिए पोस्टग्रेजुएट वर्क परमिट (PGWP) की पात्रता को लेकर नए सख्त दिशा-निर्देश जारी किए हैं। ये दिशा-निर्देश खासकर उन छात्रों पर लागू होंगे, जो कम अवधि के कॉलेज पाठ्यक्रमों को पूरा कर रहे हैं। वहीं ये नए नियम 1 नवंबर 2024 से प्रभावी होंगे।
नए नियमों के अनुसार, PGWP के लिए आवेदन करने वाले छात्रों को कनाडा की आधिकारिक भाषाओं, अंग्रेजी या फ्रेंच में उच्च दक्षता का प्रमाण देना होगा। आवेदकों को पढ़ने, लिखने, सुनने या बोलने की क्षमता में अपने कौशल को साबित करने के लिए भाषा परीक्षण का परिणाम प्रस्तुत करना होगा, जो दो साल से अधिक पुराना नहीं होना चाहिए।
इसके अलावा PGWP के लिए योग्य होने के लिए, उन छात्रों को जिनके पास विश्वविद्यालय या कॉलेज की डिग्री (स्नातक, मास्टर या डॉक्टरेट) नहीं है, ऐसे अध्ययन क्षेत्र का चयन करना होगा जो कनाडा के “लॉन्ग टर्म लेबर क्राइसिस” से संबंधित हो। ऐसे क्षेत्रों में कृषि और खाद्य-प्रसंस्करण, स्वास्थ्य सेवाएं, विज्ञान, प्रौद्योगिकी, इंजीनियरिंग और गणित (STEM), व्यापार और परिवहन शामिल हैं।
यह फैसला ऐसे समय में आया है जब ब्रैम्पटन में नौजवान सपोर्ट ग्रुप के समर्थन में अंतरराष्ट्रीय छात्रों द्वारा PGWP की शर्तों में ढील की मांग को लेकर प्रदर्शन हो रहा है। छात्रों ने वर्क परमिट की अवधि बढ़ाने, सभी अंतरराष्ट्रीय छात्रों को वर्क परमिट प्रदान करने और स्थायी निवास के लिए एक स्पष्ट रास्ता बनाने की मांग की है।
सितंबर 2023 में, कनाडा सरकार ने अस्थायी निवासियों, विशेष रूप से अंतरराष्ट्रीय छात्रों की भारी संख्या को देखते हुए, 2025 में अंतरराष्ट्रीय छात्रों की संख्या को 10% तक कम करने की घोषणा की थी। इसके साथ ही 2025 के लिए अध्ययन परमिट जारी करने का लक्ष्य 437,000 तक सीमित कर दिया गया है, जो 2023 के 485,000 के लक्ष्य से कम है।
इस बीच प्रदर्शनकारियों का दावा है कि लगभग 130,000 पूर्व अंतरराष्ट्रीय छात्रों के वर्क परमिट 2024 के अंत तक और 2025 में समाप्त हो जाएंगे, जिससे उनके निर्वासन का खतरा बढ़ गया है। कई छात्र शरणार्थी के रूप में दावा कर रहे हैं या अवैध तरीके से अमेरिका में प्रवेश करने की कोशिश कर रहे हैं, जबकि कुछ नकली शादियों का सहारा ले रहे हैं ताकि वे कनाडा में अपनी स्थिति को बनाए रख सकें।
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