7th Pay Commission, West Bengal Festival Ad-hoc Bonus: पश्चिम बंगाल की ममता बनर्जी सरकार ने लोकसभा चुनाव 2019 में बड़ा झटका मिलने के बाद अपने कर्मचारियों और पेंशनभोगियों के लिए बोनस में 400 रुपये की वृद्धि करने का निर्णय लिया है. ईद और दुर्गा पूजा जैसे त्योहार से पहले, ममता बनर्जी की अगुवाई वाली टीएमसी सरकार ने 31 मार्च 2019 तक 30,000 रुपये की मासिक आय के साथ अपने कर्मचारियों को एड-हॉक फेस्टिवल बोनस के रूप में 4,000 रुपये देने का फैसला किया है.
कोलकाता. बंगाल में ममता बनर्जी के नेतृत्व वाली तृणमूल कांग्रेस सरकार ने अगले महीने की ईद से पहले मुस्लिम सरकारी कर्मचारियों के लिए बोनस की घोषणा की है. नोबानो, राज्य सचिवालय ने सरकार के सभी मुस्लिम कर्मचारियों के लिए 4,000 रुपये की घोषणा की है. ममता सरकार ने ईद बोनस की घोषणा करते हुए एक अधिसूचना जारी की है. अधिसूचना में कहा गया है कि सभी मुस्लिम कर्मचारी जो प्रति माह 30,000 रुपये तक कमाते हैं उन्हें यह ईद बोनस मिल सकता है.
पिछले साल यह बोनस 3,600 रुपये था. लेकिन इस ईद पर मुख्यमंत्री ममता ने इसे 400 रुपये बढ़ा दिया है. अल्पसंख्यक समुदाय से संबंधित सभी सरकारी कर्मचारियों के लिए और 30,000 रुपये से 36,000 रुपये के वर्ग में कमाने वाले सभी कर्मचारी ईद से पहले 8,000 रुपये के अग्रिम बोनस लेने के लिए पात्र हैं. एड-हॉक बोनस के साथ-साथ ब्याज-मुक्त त्योहार अग्रिम में, राज्य वित्त विभाग ने लाभार्थियों के इनकार के लिए अलग-अलग विस्तृत नियम और शर्तें रखी हैं.
यह कदम ममता द्वारा राजनीतिक रूप से विवादित टिप्पणी करने के कुछ दिनों बाद आया है. अपने विवादित बयान में ममता बनर्जी ने तृणमूल के मुस्लिम वोट बैंक की तुलना दुधारू गाय से की थी. ममता ने यह घोषणा करते हुए कि वह एक इफ्तार पार्टी में शामिल होंगी कहा था कि, क्योंकि मैं मुसलमानों से अपील करती हूं, इसलिए मैं इसमें (इफ्तार में) 100 बार शामिल होउंगी. यदि गाय दूध देती है, तो उसकी लात का सामना करने के लिए तैयार रहना चाहिए.
ममता के इस कदम से बीजेपी के बयान लगभग साबित हो जाते हैं कि वो (ममता बनर्जी) अपनी आंखों से मुस्लिमों को चुनावी फायदे के लिए देखती हैं. ये कहना भी गलत नहीं होगा की बंगाल ऐसा राज्य है कि जहां हर मुद्दे को विवादास्पद मोड़ देने की क्षमता है. ममता का यह कदम भाजपा के लिए एक अवसर के रूप में काम कर सकता है जिससे फिर ममता पर सवाल खड़े किए जाएंगे.
नोबानो के सूत्रों ने कहा कि इस कदम से राज्य के लगभग 10 लाख सरकारी कर्मचारियों को फायदा होगा. ईद से पहले मुस्लिम कर्मचारियों को इसका लाभ दिया जाएगा और बाकी इसे 23 सितंबर से 1 अक्टूबर के बीच दुर्गा पूजा से पहले मिलेगा. इसे ममता बनर्जी सरकार द्वारा वोट बैंक बचाने के नजरिए से देखा जा रहा है. लोकसभा में झटका मिलने के बाद अब ममता बनर्जी अपने वोट बैंक को बचाने की कोशिश में जुटी हैं.