नई दिल्ली। आज भी खेती करने को गांवों में रहने वाले लोगों का ही काम समझा जाता है। लेकिन जिस देश की अर्थव्यवस्था का आधार ही खेती है, वहां इसमें समय के साथ बदलाव होता दिखाई दे रहा है। देखा जाए तो अब सिर्फ गांव वाले ही नहीं बल्कि शहर के लोग भी गांव आकर […]
नई दिल्ली। आज भी खेती करने को गांवों में रहने वाले लोगों का ही काम समझा जाता है। लेकिन जिस देश की अर्थव्यवस्था का आधार ही खेती है, वहां इसमें समय के साथ बदलाव होता दिखाई दे रहा है। देखा जाए तो अब सिर्फ गांव वाले ही नहीं बल्कि शहर के लोग भी गांव आकर खेती कर रहे (Good News) हैं। पहले की तुलना में खेती में तकनीकी का इस्तेमाल बढ़ा है। आज जहां यूट्यूब को ज्यादातर लोग अपने मनोरंजन के लिए इस्तेमाल करते है, वहीं उत्तर प्रदेश के रायबरेली के रहने वाले एक किसान ने उसी यूट्यूब से खेती का तरीका सीखा और लाखो की कमाई कर रहा है।
दरअसल, रायबरेली के रहने वाले राम सागर पांडे को यूट्यूब से खेती करने की तरकीब (Good News) सूझी। उन्होंने 2020 में लॉकडाउन के समय जब वो गांव में थे तब, एप्पल बेर और ताइवान अमरूद से जुड़ा एक वीडियो देखा। उस वीडियो में बताया गया कि किस तरह अच्छी खेती इन फलों की खेती करके अच्छा खासा मुनाफा कमाया जा सकता है। जिसके बाद राम सागर ने भी एप्पल बेर और ताइवान अमरूद की खेती करने का निर्णय किया।
राम सागर पांडे ने अपनी पुश्तैनी जमीन पर एप्पल बेर और ताइवान अमरूद की खेती करने का विचार (Good News) किया। उन्होंने, 4 एकड़ जमीन पर एप्पल बेर और 1 एकड़ जमीन पर ताइवान अमरूद की खेती करना शुरू किया। इस दौरान उन्होंने देसी और विदेशी फलों को मिलाकर पेड़ लगाना शुरू किया। सिंदूरी बेर और एप्पल बेर के साथ-सात ताइवान पिंक अमरूद और जैपनीज रेड डायमंड अमरूद की भी खेती की।
इसके लिए उन्होंने खेतों में क्यारी बनाई और हर पौधे के बीच 10 फीट की निश्चित दूरी के साथ पेड़ लगाया। राम सागर ने बताया कि शुरु -शुरू में 1- 2 लाख रुपए तक की लागत आती है। लेकिन एक बार पेड़ लगाने के बाद आप उससे सालों तक अच्छा मुनाफा कर सकते हैं। फिलहाल, अब इन्हीं विदेशी फलों को बेचकर आज राम सागर पांडे, हर साल 10 से 12 लाख रुपए की कमाई कर रहे हैं।
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