भुखमरी से बचने के लिए इस देश ने हाथियों पर ढाया कहर

नई दिल्ली : जिम्बाब्वे में भुखमरी से निपटने के लिए जिम्बाब्वे की सरकार ने हाथियों को मारने का आदेश दिया है। मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार के मुताबिक जिम्बाब्वे के 4 जिलों में 200 हाथियों को मारा जाएगा और उनका मांस अलग-अलग समुदायों में बांटा जाएगा। जिम्बाब्वे पार्क एंड वाइल्डलाइफ अथॉरिटी ने इसकी पुष्टि की है। […]

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भुखमरी से बचने के लिए इस देश ने हाथियों पर ढाया कहर

Manisha Shukla

  • September 18, 2024 7:19 pm Asia/KolkataIST, Updated 2 months ago

नई दिल्ली : जिम्बाब्वे में भुखमरी से निपटने के लिए जिम्बाब्वे की सरकार ने हाथियों को मारने का आदेश दिया है। मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार के मुताबिक जिम्बाब्वे के 4 जिलों में 200 हाथियों को मारा जाएगा और उनका मांस अलग-अलग समुदायों में बांटा जाएगा। जिम्बाब्वे पार्क एंड वाइल्डलाइफ अथॉरिटी ने इसकी पुष्टि की है।

दरअसल, जिम्बाब्वे पिछले 4 दशकों में सबसे बड़ी सूखे की समस्या से जूझ रहा है। इसके चलते देश की करीब आधी आबादी खाने के संकट से जूझ रही है। अल नीनो के कारण से आए सूखे की वजह से देश की पूरी फसल पूरी तरह से बर्बाद हो गई है। ऐसे में जिम्बाब्वे के 6 करोड़ 80 लाख से ज्यादा लोग खाने की तंगी से जूझ रहे हैं।

हाथियों के पार्क की घटी जगह

देश में हाथियों की संख्या को कम करना भी लक्ष्य है। पार्क एंड वाइल्डलाइफ अथॉरिटी के प्रवक्ता फरावो ने बताया कि हाथियों को मारने के पीछे दूसरा मकसद जिम्बाब्वे में हाथियों की संख्या को कम करना है। दरअसल, जिम्बाब्वे में करीब 1 लाख हाथी रहते हैं। हालांकि, यहां के पार्कों में सिर्फ 55 हजार हाथियों को रखने की जगह है।

हाथियों का मांस बेचा

वहीं, सूखे के कारण देश के नागरिकों और हाथियों के बीच संतुलन बनाए रखने में कठिनाई बढ़ने की संभावना है। पिछले साल जिम्बाब्वे में हाथियों के हमले में 50 लोगों की मौत हो गई थी। इससे पहले जिम्बाब्वे में वर्ष 1988 में हाथियों को मारकर उनका मांस बेचा गया था।

हाथियों का मांस लोगों में बांटा गया

जिम्बाब्वे हाथी दांत बेचने की अनुमति मांग रहा है। पिछले महीने अफ्रीकी देश नामीबिया में सूखे से निपटने के लिए 83 हाथियों को मारकर उनका मांस लोगों में बांटा गया था। हाथियों के संरक्षण के लिए मशहूर जिम्बाब्वे लंबे समय से लुप्तप्राय प्रजातियों के अंतरराष्ट्रीय व्यापार पर संयुक्त राष्ट्र सम्मेलन (CITES) से हाथियों और उनके दांतों को बेचने की अनुमति मांग रहा है।

बोत्सवाना में सबसे अधिक हाथी 

जिम्बाब्वे के अलावा बोत्सवाना और नामीबिया भी इस मांग में शामिल हैं। दरअसल, दुनिया में हाथियों की सबसे ज्यादा आबादी बोत्सवाना में रहती है। इसके बाद जिम्बाब्वे का नंबर आता है। हाथियों की बढ़ती संख्या के कारण यहां लोगों की जान खतरे में है। वे फसलों के साथ-साथ अपने रास्ते में आने वाले छोटे बच्चों को भी कुचल देते हैं।

हाथी दांत बेचने पर प्रतिबंध

 

जिम्बाब्वे में 5000 करोड़ रुपये के हाथी दांत हैं। हालांकि, इसके व्यापार पर प्रतिबंध है। ऐसे में हाथी दांत बेचने की अनुमति मिलने से यहां के नागरिकों को पैसे कमाने का एक और जरिया मिल सकता है।

 

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