Gali Guleiyan Film Review: मनोज बाजपेयी (Manoj bajpayee) की अपकमिंग फिल्म गली गुलियां (Gali Guleiyan) आज बॉक्स ऑफिस (Box Office) पर रिलीज हो रही है. फिल्म में मनोज बाजपेयी बेहद दमदार अभिनय करते दिख रहे हैं. यहां पढ़ें गली गुलियां का फिल्म रिव्यू...
बॉलीवुड डेस्क, मुंबई. बॉलीवुड अभिनेता मनोज बाजपेयी की फिल्म गली गुलियां आज यानि 7 सितंबर को सिनेमाघरों में दस्तक दे चुकी हैं. मनोज बाजपेयी की गली गुलियां को सोशल से लेकर सेलिब्रिटीज और क्रिटिक्स तक सभी से शानदार रिव्यू मिले हैं. फेसबुक और ट्विटर पर #GaliGuleiyan ट्रेंड कर रहा है. इतना ही नहीं फिल्म में मनोज बाजपेयी के अभिनय की भी जमकर तारीफ की जा रही है. अगर आप भी यह फिल्म देखने का मन बना रहे हैं तो इससे पहले जान लें कैसी है मनोज बाजपेयी की गली गुलियां…
फिल्म – गली गुलियां
स्टार कास्ट- मनोज बाजपेयी,नीरज काबी,रणवीर शौरी
निर्देशक- दिपेश जैन
मूवी टाइप- ड्रामा,थ्रिलर
समय अवधि- 1 घंटा 57 मिनट
स्टार – 3.5
गली गुलियां फिल्म रिव्यू (Gali Guleiyan Film Review in Hindi )
दीपेश जैन द्वारा निर्देशित मनोज बाजपेयी की फिल्म गली दुलियां एक हिंदी मनोवैज्ञानिक ड्रामा फिल्म है, जिसमें मनोज बाजपेयी एक खुद्दूस नाम के शख्स का किरदार निभा रहे हैं. खुद्दूस अलगांव की गलियों में एक छोटे से मकान में रहता है. खुद्दूस अकेले ही अपनी लाइफ में मस्त रहता है और उसकी एक दुकान भी है, जिससे वो अपना गुजारा चलाता है. वो एक बेहतरीन कलाकार भी होता है. खुद्दूस का पड़ोसी रणवीर शौरी उसका काफी अच्छा दोस्त होता है. वहीं खुद्दूस अपने पड़ोसियों के घर में कुछ कैमरे छिपा कर लगा देता है और हर रोज उन छिपे हुए कैमरों के जरिए घर बैठे अपने पड़ोसियों के घर की जानकारी रखता है. वहीं खुद्दूस के पड़ोस में रहने वाला लियाकत की एक कसाई की दुकान होती है और वो अपने बैठे को भी कसाई बनाना चाहता है. इसके लिए वो हर रोज अपने बेटे को खूब पीटता भी है. एक दिन जब मनोज बाजपेयी यानि खुद्दूस को उसके घर से एक लड़के के चिल्लाने की आवाज आती है तो वो उसके बारे में पता करता है और जब उसको पता चलता है कि लियाकत अपने बेटे को बेरहमी से पीटता है तो उसको बहुत गुस्सा आता है. मनोज बाजपेयी उस लड़के को बचा पाते हैं या नहीं अगर बचाते हैं तो इसके लिए उन्हें क्या क्या करना पड़ता है इसके बारे में जानने के लिए आपकों सिनेमाघर का रुख करना पड़ेगा.