मुंबई: अभिनेता अक्षय कुमार की फिल्म ‘मिशन रानीगंज’ एक सच्ची घटना से प्रेरित है. बता दें कि इस फिल्म में अक्षय रियल लाइफ हीरो जसवंत सिंह गिल का भूमिका निभा रहे हैं. जिन्होंने अपनी जान की बाजी लगाते हुए जमीन से लगभग 350 फीट नीचे फंसे हुए 65 खदान मजदूरों की जान बचाई थी. बता […]
मुंबई: अभिनेता अक्षय कुमार की फिल्म ‘मिशन रानीगंज’ एक सच्ची घटना से प्रेरित है. बता दें कि इस फिल्म में अक्षय रियल लाइफ हीरो जसवंत सिंह गिल का भूमिका निभा रहे हैं. जिन्होंने अपनी जान की बाजी लगाते हुए जमीन से लगभग 350 फीट नीचे फंसे हुए 65 खदान मजदूरों की जान बचाई थी. बता दें कि इस हफ्ते रिलीज होने वाली फिल्मों की भीड़ में ‘मिशन रानीगंज’ एक ऐसी ही फिल्म है. जो सभी किसी को देखनी चाहिए.
कोल इंडिया लिमिटेड में एक इंजीनियर के तौर पर कुछ समय तक काम करने के बाद जसवंत सिंह गिल को उप-विभागीय अभियंता के रूप में पदोन्नत मिली और फिर वो कोल इंडिया लिमिटेड में कार्यकारी अभियंता के रूप पर कार्यरत रहे है. बता दें कि उसके बाद उन्हें रानीगंज में कोल इंडिया लिमिटेड में मुख्य महाप्रबंधक ईडी (सुरक्षा एवं बचाव) के पद पर पदोन्नत किया गया. साथ ही 13 नवंबर 1989 को उसी क्षेत्र की एक कोयला खदान में दुर्घटना हुई जिसमें 220 खनिक काम कर रहे थे.
बता दें कि जसवन्त सिंह गिल ने एक स्टील कैप्सूल बनाकर बचाव अभियान की योजना बनाई थी और खुद कैप्सूल में घुस कर बोरवेल के द्वारा वहां गए जहां 65 खनिक फंसे हुए थे. बोरवेल में पहुंचने के बाद जसवंत सिंह ने फंसे हुए मजदूरों को एक-एक करके कैप्सूल के द्वारा भेजना शुरू किया, साथ ही सभी 65 खनिकों को बचाने के बाद सबसे आखिर में जसवंत सिंह बोरवेल से बाहर आए और बचाव अभियान में लगभग 6 घंटे लग गए, हालांकि तब से भारत में 16 नवंबर को बचाव अभियान की याद में ‘बचाव दिवस’ के रूप में मनाया जाता है.