मुंबई. अपने भड़काऊ और हॉट वीडियो से फैन्स को खुश कर देने वालीं मॉडल पूनम पांडेय के वीडियो में मादकता की बढ़ती और कपड़े की घटती मात्रा ने एक सवाल खड़ा कर दिया है कि क्या पूनम पांडेय यू-ट्यूब पर भी सेंसर बोर्ड जैसी कोई एजेंसी बिठाकर ही दम लेंगी.
बॉलीवुड के फिल्मों को सेंसर बोर्ड पास करता है और हर उस सीन पर कैंची चला देता है जिसे वो दर्शकों के लिए ठीक नहीं मानता. सेंसर बोर्ड के फैसले का फिल्म बनाने वाले और देखने वाले कई बार विरोध करते हैं लेकिन वो फैमिली फिल्मों के नाम पर अश्लील और अंतरंग सीन काट ही देता है.
देश में ऐसी कोई एजेंसी नहीं है जो यू-ट्यूब पर वीडियो में हॉटनेस को माप सके और फिर उसे काट-छांट सके. इंटरनेट खुली जगह है और जिसके पास मोबाइल और डाटा है, वो जब चाहे, जहां चाहे, ऐसा कोई भी वीडियो देख सकता है.
बॉलीवुड की पहली पॉर्न कॉमेडी- क्या कूल हैं हम 3
पूनम पांडेय समेत कई मॉडल्स इंटरनेट पर इस आजादी का भरपूर फायदा उठाती हैं. पूनम ने क्रिसमस पर जो वीडियो रिलीज किया है उसका नाम भी उन्होंने ‘जिंगल बूब्स’ दे दिया है. बॉलीवुड में अब सेमी पॉर्न फिल्मों का बनना शुरू हो चुका है और सेंसर बोर्ड इन्हें A ग्रेड सर्टिफिकेट के साथ रिलीज की इजाजत देने लगा है.
अगले साल 22 जनवरी को एकता कपूर की ‘क्या कूल हैं हम 3’ और 29 जनवरी को सनी लियोनी की ‘मस्तीज़ादे’ रिलीज हो रही है. दोनों फिल्में द्विअर्थी संवाद और दृश्य से भरे हैं इसलिए इन्हें A सर्टिफिकेट दिया गया है. बालाजी फिल्म्स ने अपनी फिल्म ‘क्या कूल हैं हम 3’ को देश का पहला पॉर्न कॉमेडी करा दिया है.
ये है पूनम पांडेय का क्रिसमस वीडियो जिसका नाम है ‘जिंगल बूब्स’