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कैलाश मानसरोवर में मिलता है भगवान दर्शन का एहसास

हिंदुओं के लिए कैलाश मानसरोवर का मतलब भगवान का साक्षात दर्शन करना है. कैलाश मानसरोवर को ब्रह्मांड का केंद्र माना जाता है. ऐसी मान्यता है कि पहाड़ों की चोटी वास्तव में सोने के बने कमल के फूल की पंखुड़ियां हैं जिन्हें भगवान विष्णु ने सृष्टि की संरचना में सबसे पहले बनाया था. इन पंखुड़ियों के शिखरों में से एक है कैलाश पर्वत.

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  • December 27, 2015 2:08 pm Asia/KolkataIST, Updated 9 years ago
नई दिल्ली. हिंदुओं के लिए कैलाश मानसरोवर का मतलब भगवान का साक्षात दर्शन करना है. कैलाश मानसरोवर को ब्रह्मांड का केंद्र माना जाता है. ऐसी मान्यता है कि पहाड़ों की चोटी वास्तव में सोने के बने कमल के फूल की पंखुड़ियां हैं जिन्हें भगवान विष्णु ने सृष्टि की संरचना में सबसे पहले बनाया था. इन पंखुड़ियों के शिखरों में से एक है कैलाश पर्वत.
 
इस पर्वत पर भगवान शिव ध्यान की अवस्था में लीन रहते हैं. उनके इस अध्यात्म से ही चारों तरफ वातावरण बेहद शुद्ध है और कहा जाता है कि अपनी किरणों से उन्होंने सृष्टि को संतुलित रखा हुआ है.
 
कहा जाता है कि कैलाश पर्वत पर साक्षात शिव और पार्वती निवास करते हैं. इस अद्भुत और अलौकिक नजारे को देखकर ही लोगों का शिव की मौजूदगी का मानो एहसास हो जाता है. सदियों से भक्त यहां अपने परमेश्वर की दर्शन करने के लिए आते हैं. जिंदगी में एक बार स्वर्ग में भगवान के दर्शन का एहसास यहीं मिलता है. इसलिए लोग हर साल हजारों की तादाद में अपने प्रिय शिव और पार्वती के दर्शन करने कैलाश आते हैं.
 
वीडियो पर क्लिक करके देखिए पूरा शो:

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