नई दिल्ली: भारत में आपको बर्फीले पहाड़ों पर हिमस्खलन या भूस्खलन से लेकर उफनती नदियों की बाढ़ और सूखे या सुनामी जैसी प्राकृतिक आपदाओं का सामना करना पड़ता है. ऐसे में अब सरकार ‘मिशन मौसम’ शुरू करने जा रही है. ‘मिशन मौसम’ के तहत सरकार तकनीक का इस्तेमाल कर मौसम पूर्वानुमान को बेहतर बनाने का […]
नई दिल्ली: भारत में आपको बर्फीले पहाड़ों पर हिमस्खलन या भूस्खलन से लेकर उफनती नदियों की बाढ़ और सूखे या सुनामी जैसी प्राकृतिक आपदाओं का सामना करना पड़ता है. ऐसे में अब सरकार ‘मिशन मौसम’ शुरू करने जा रही है. ‘मिशन मौसम’ के तहत सरकार तकनीक का इस्तेमाल कर मौसम पूर्वानुमान को बेहतर बनाने का काम करेगी. यह एक बड़े पैमाने की पहल होगी, जिसमें जलवायु परिवर्तन विज्ञान की क्षमताओं का पूरा लाभ उठाया जाएगा.
सरकार ने ‘मिशन मौसम’ के लिए 2,000 करोड़ रुपये का बजट रखा है. इस मिशन का मुख्य लक्ष्य भारत के मौसम विभाग को अपग्रेड करना है. ताकि देश में मौसम की सटीक भविष्यवाणी की जा सके. इतना ही नहीं, इससे सरकार को आपदा आने से पहले तैयार रहने और जल्द से जल्द जनजीवन सामान्य करने में भी मदद मिलेगी. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में हुई केंद्रीय कैबिनेट की बैठक में इस पर फैसला लिया गया है.
मौसम GPT को मिशन मौसम के तहत लॉन्च किया जाएगा. एआई आधारित इस ऐप के जरिए आप मौसम से जुड़ी जानकारी प्राप्त कर सकेंगे. उदाहरण के लिए, किसी व्यक्ति को दिल्ली से मुंबई जाना है और फ्लाइट पकड़नी है. वह इस ऐप पर जान सकते हैं कि अगले छह घंटों में मुंबई में मौसम कैसा रहने वाला है. दिल्ली हवाई अड्डे पर मौसम कैसा है? यहां न सिर्फ देश बल्कि विदेश के मौसम की भी जानकारी मिलेगी. वहीं इसके तहत किसानों के लिए एक सरल नंबर जारी किया जाएगा. इसे डायल कर किसान अपने क्षेत्र के मौसम का पूर्वानुमान प्राप्त कर सकेंगे. इसकी जानकारी एसएमएस के जरिये मिलेगी.
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