Jeweller to Election Commission: ज्वैलर्स का आरोप है कि 50,000 रुपये या उससे अधिक की नकदी या आभूषण ले जाने के लिए पुलिस द्वारा व्यवसायों और ग्राहकों को परेशान किया जा रहा था. उन्होंने कहा कि लोकसभा चुनाव 2019 के लिए आचार संहिता लागू होने के कारण उन्हें भी नुकसान उठाना पड़ रहा है.
नई दिल्ली. 10 मार्च को आदर्श आचार संहिता लागू होने के बाद उत्पीड़न का आरोप लगाते हुए ज्वैलर्स ने पुलिस पर लगाम लगाने के लिए मुख्य चुनाव आयुक्त और चुनाव आयोग से संपर्क किया है. चुनाव आयोग से इंडिया बुलियन एंड ज्वैलर्स एसोसिएशन और ऑल इंडिया जेम एंड ज्वैलरी डोमेस्टिक काउंसिल ने गुहार लगाई है.
दरअसल पुलिस पर उत्पीड़न का आरोप लगाया है. कहा गया है कि पुलिस द्वारा 50,000 रुपये या अधिक मूल्य की नकदी या आभूषण ले जाने के लिए दोनों व्यवसायों और ग्राहकों को परेशान किया जा रहा है. ऑल इंडिया जेम के अध्यक्ष, अनन्त पद्मनाभन ने कहा, हाल की घटनाओं के कारण के दौरान व्यापार में और उपभोक्ताओं के बीच भय है. लोगों को परेशान किया जा रहा है, जिसके बावजूद बिक्री नहीं बढ़ रही है. हम दक्षिण भारत में राज्य चुनाव आयुक्तों से बात कर रहे हैं.
ज्वैलर्स ने कहा कि हमारे प्रतिनिधि दिल्ली में हैं, मुख्य चुनाव आयुक्त से मिलने और उन्हें स्थिति के बारे में बताने की कोशिश कर रहे हैं. वसंत-गर्मियों के त्योहारी सीजन में सोने की बिक्री, जो कि शादियों के साथ भी होती है, प्रभावित हो सकती है. एसोसिएशन के कहना है कि ये समय शादियों का है और लोग बड़े पैमाने पर सोना खरीदते है ऐसे में व्यापार प्रभावित होने की संभावना है. मुख्य चुनाव आयुक्त से मिलने के लिए समय मांगा है.
दरअसल आदर्श आचार संहिता लागू होने के बाद होने के बाद कोई भी व्यक्ति 50 हज़ार से ज्यादा का नगद ले कर नहीं चल सकता. अगर उसके पास 50 हज़ार से ज्यादा की रकम है तो उसे आय का स्रोत बताना होगा. वही अगर कोई व्यक्ति 10 लाख से ज्यादा की रकम ले कर चलता है तो उसे इनकम टैक्स को बताना होता है.