नई दिल्ली. आईपीएल के पूर्व कमिश्नर ललित मोदी के खिलाफ बड़ा कदम उठाते हुए सरकार ने सोमवार को प्रवर्तन निदेशालय के अधिकारियों की टीम को सिंगापुर भेजा है ताकि लेटर रोगेटरी (एलआर) में तेजी लाई जा सके. दरअसल विदेश मंत्री सुषमा स्वराज और वसुंधरा राजे की संलिप्तता का विवाद सामने आने के बाद सरकार का यह पहला बड़ा कदम है. प्रवर्तन निदेशालय ने सोमवार की सुबह सिंगापुर को एलआर लिखा है.
अंग्रेजी अखबार इंडियन एक्सप्रेस के मुताबिक प्रवर्तन निदेशालय पिछले दो साल से इस मसले पर कोई खास एक्शन नहीं ले रही थी, जबकि 2013 में ब्रिटेन ने भारत से रिवाइज्ड एलआर मांगा था. आईपीएल के पूर्व कमिश्नर ललित मोदी ब्रिटेन में ठहरे हुए हैं, जबिक भारत सरकार ने 2010 में उनका पासपोर्ट रद्द कर दिया था. अब संशोधित एलआर इस हफ्ते ब्रिटेन को भेजा जाएगा.
सिंगापुर और मॉरिशस को भेजे गए दो LR
सोमवार को ईडी ने प्रिवेंशन ऑफ मनी लॉड्रिंग एक्ट के तहत दो एलआर सिंगापुर और मॉरिशस को भेजे हैं. एलआर भारतीय कोर्ट द्वारा विदेश मंत्रालय के जरिए विदेशी कोर्ट को भेजा गया पत्र होता है.
इनकी मांगी है जानकारी
दोनों एलआर का संबंध मार्च 2009 में ललित मोदी द्वारा साइन की गई सोनी की सिंगापुर स्थित सहायक कंपनी मल्टी स्क्रीन मीडिया (MSM) और वर्ल्ड स्पोर्ट्स ग्रुप की डील से है. इन एलआर में ईडी ने एमएसएम और डब्ल्यूएसजी दोनों के बैंक खातों के लेन देन की जानकारी मांगी है. ईडी इनकी जांच कर इन कंपनियों के ललित मोदी के संबंध के बारे में पता लगाना चाहती है.
एजेंसी इनपुट भी
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