भोपाल। मध्यप्रदेश के विदिशा जिले में 60 फीट गहरे बोरवेल में गिरे 7 साल के मासूम बच्चे को बाहर निकाल लिया गया। रेस्क्यू के बाद उसे सीधे अस्पताल ले जाया गया, जहां अब जानकारी मिल रही है कि मासूम बच्चे की मौत हो चुकी है। बता दें कि, रेस्क्यू ऑपरेशन लगभग 24 घंटे तक चला।मासूम […]
भोपाल। मध्यप्रदेश के विदिशा जिले में 60 फीट गहरे बोरवेल में गिरे 7 साल के मासूम बच्चे को बाहर निकाल लिया गया। रेस्क्यू के बाद उसे सीधे अस्पताल ले जाया गया, जहां अब जानकारी मिल रही है कि मासूम बच्चे की मौत हो चुकी है। बता दें कि, रेस्क्यू ऑपरेशन लगभग 24 घंटे तक चला।मासूम बच्चा बोरवेल में 43 फीट गहराई में फंसा था। रेस्क्यू टीम द्वारा रातभर इस गड्ढे की खुदाई की गई। आज सुबह तकरीबन 8 बजे तक 50 फीट गहरा गड्ढा खोदा गया, इसके बाद 5 फीट टनल बनाकर बच्चे को सफलतापूर्वक निकाला गया।
एडिशनल एसपी समीर यादव ने मुताबिक मासूम बच्चे को ऑक्सीजन सपोर्ट देकर लटेरी अस्पताल भेजा गया है। वहीं टनल के नज़दीक एम्बुलेंस को खड़ा किया गया था। साथ ही चाइल्ड स्पेशलिस्ट डॉक्टर और अन्य मेडिकल स्टाफ को टनल के अंदर बुलवाया गया था। वहीं बच्चे को निकालने के बाद 14 किलोमीटर दूर लटेरी शासकीय अस्पताल ले जाया गया है।
खबर के अनुसार, दिनेश अहिरवार का बेटा लोकेश सोमवार 13 मार्च सुबह 11 बजे खेत के नज़दीक खेल रहा था. उसी दौरान बच्चा खेत में बने बोरवेल में गिर गया था। वहीं पुलिस और एनडीआरएफ की टीम मंगलवार सुबह 11.30 बजे से रेस्क्यू मिशन में जुटी हुई थी। मिली जानकारी के मुताबिक लेटेराइट आने से रात में दो और पोकलेन मशीन मंगवाई गई। वहीं 4 जेसीबी और 3 पोकलेन मशीन रात भर खुदाई के काम में लगी रहीं।
इस दौरान कलेक्टर उमाशंकर भार्गव, लटेरी एसडीएम हर्षल चौधरी, एडिशनल एसपी समीर यादव वहां मौजूद थे। विदेशा के कलेक्टर उमाशंकर भार्गव ने कहा कि लापरवाही की वजह से बच्चे की जान खतरे में पड़ गई। इसी कारण एक हफ्ते में जिले के सारे बोरवेल के गड्ढो को ढंक दिया जाए।
वहीं अब मौत के बाद विदिशा के कलेक्टर उमा शंकर भार्गव के कहा कि हमने अपनी तरफ से पूरी कोशिश की, लेकिन बेहद अफ़सोस की बात है कि हम बच्चे को बचा नहीं सके। वहीं सीएम ने भी इस मामले पर अपना दुख प्रकट किया और साथ ही कहा कि बच्चे के परिवार को 4 लाख रुपये की आर्थिक सहायता दी जाएगी। हम दोषियों के खिलाफ निश्चित तौर पर कड़ी कार्रवाई करेंगे।