लखनऊ। राज्य में नगर निकाय चुनाव से पहले ही SP पार्टी और राष्ट्रीय लोक दल (RLD) गठबंधन में घमासान शुरु हो गया है। विभिन्न सीटों पर सपा और रालोद दोनों ने एक – दूसरे के खिलाफ अपने उम्मीदवार मैदान में उतार दिए हैं। बता दें, जहां रालोद ने मेरठ नगर निगम में महापौर पद पर […]
लखनऊ। राज्य में नगर निकाय चुनाव से पहले ही SP पार्टी और राष्ट्रीय लोक दल (RLD) गठबंधन में घमासान शुरु हो गया है। विभिन्न सीटों पर सपा और रालोद दोनों ने एक – दूसरे के खिलाफ अपने उम्मीदवार मैदान में उतार दिए हैं। बता दें, जहां रालोद ने मेरठ नगर निगम में महापौर पद पर अपना प्रत्याशी उतारने का ऐलान कर दिया हैं, वहीं इस सीट से सपा ने भी अपने उम्मीदवार को उतार दिया है।
बिजनौर – बिजनौर नगर पालिका अध्यक्ष के लिए सपा ने स्वाति वीरा को उम्मीदवार घोषित किया है। वहीं सपा से नाराज हुई रुखसाना परवीन को रालोद ने इसी सीट से खड़ा किया है।
बागपत – उधर बागपत जिले की नगर पालिका बड़ौत सीट पर बतौर अध्यक्ष प्रत्याशी सपा ने रणधीर प्रधान को उम्मीदवार घोषित कर दिया है। यहां दूसरे चरण में चुनाव है और बड़ौत रालोद का गढ़ माना जाता है। इस सीट पर रालोद ने अपने उम्मीदवार उतारने की तैयारी ही कर रहा था कि सपा ने दांव खेलते हुए अपने उम्मीदवार दिया।
खेकड़ा – इसके अलावा नगर पालिका खेकड़ा में भी अध्यक्ष पद के लिए रालोद से रजनी धामा को उम्मीदवार घोषित कर दिया है जबकि सपा ने संगीता धामा को उम्मीदवार घोषित किया है।
सहारनपुर – वहीं सहारनपुर की नगर पंचायत अंबेहटा पीर पर अध्यक्ष पद के लिए पहले रालोद प्रत्याशी रेशमा ने पर्चा भरा तो अंतिम दिन सपा ने इशरत जहां का नामांकन दाखिल कर दिया। इसके अलावा विभिन्न जिलों में पार्षद और सदस्य सीटों पर बंटवारे को लेकर कई जिलों में हंगामा हुआ है। शामली की कांधला नगर पालिका पर सपा ने नजमुल हसन को तथा रालोद से मिर्जा फैसल बेग को उतार दिया गया है।
मेरठ – मेरठ में सपा ने अपने विधायक अतुल प्रधान की पत्नी सीमा प्रधान को महापौर पद का प्रत्याशी घोषित किया है। वहीं रालोद ने भी अब यहां से अपना उम्मीदवार उतारने का ऐलान किया है। इसके अलावा छह अन्य सीटों हल्दौर, नहटौर, नूरपुर, धामपुर, चांदपुर पर ये ही स्थिति खड़ी हो गई है।
बता दें, ये सारा हंगामा पश्चिमी उत्तर प्रदेश के जिलों में हो रहा है। रालोद का सारा वजूद पश्चिमी यूपी में है। यही कारण है कि सपा द्वारा भी अब पश्चिमी यूपी के इलाकों में अपने उम्मीदवारों की घोषणा के बाद रालोद ने नाराजगी जाहिर की है।
इससे पहले विधानसभा चुनाव 2022 में सपा रालोद का गठबंधन हुआ था। सपा प्रमुख अखिलेश यादव और रालोद अध्यक्ष जयंत चौधरी ने मिलकर प्रचार भी किया था। खास तौर पर पश्चिमी उत्तर प्रदेश में जमकर प्रचार किया गया था। लेकिन निकाय चुनाव में दोनों पार्टियां एक दूसरे की विरोधी हो गई है।
यहां तक कि चुनाव से पहले रालोद प्रदेश अध्यक्ष रामशीष राय ने बड़ौत में घोषणा कर दी थी कि रालोद निकाय चुनाव अपने दम पर लड़ेगा तो इसे लेकर रालोद और सपा दोनों में ही हंगामा मच गया था। रालोद ने तो दिल्ली से इस बाबत सफाई दी और कहा कि प्रत्याशी रालोद और सपा की साझा कमेटी चुनेगी और गठबंधन मिलकर चुनाव लड़ेगा। अब चुनाव आया तो दोनों के बीच मनमुटाव देखने को मिल रहा है।