जयपुर। सीनियर टीचर भर्ती पेपर लीक मामले को लेकर आए दिन नए खुलासे हो रहे हैं। अब जालौर के पटवारी को पुलिस ने गिरफ्तार किया है। पुलिस ने जालौर जिले के पटवार मंडल में कार्यरत पटवारी गमाराम खिलेरी को गिरफ्तार किया है। पुलिस के अनुसार पटवारी गमाराम खिलेरी ने मुख्य साजिशकर्ता भूपेंद्र सारण से 8 […]
जयपुर। सीनियर टीचर भर्ती पेपर लीक मामले को लेकर आए दिन नए खुलासे हो रहे हैं। अब जालौर के पटवारी को पुलिस ने गिरफ्तार किया है। पुलिस ने जालौर जिले के पटवार मंडल में कार्यरत पटवारी गमाराम खिलेरी को गिरफ्तार किया है।
पुलिस के अनुसार पटवारी गमाराम खिलेरी ने मुख्य साजिशकर्ता भूपेंद्र सारण से 8 लाख में पेपर खरीदा था और उसके बाद कुछ अन्य बच्चों को पेपर बांट दिया था। गिरफ्तारी के बाद पटवारी को उदयपुर पुलिस ने मंगलवार की शाम को गोपनीय तरीके से कोर्ट में पेश किया था, जहां से उसे 3 मार्च तक के लिए रिमांड पर भेज दिया है।
पुलिस द्वारा पूछताछ में पटवारी ने बताया कि उसने भूपेन्द्र सारण से 8 लाख रुपए में पेपर को खरीदा था, जिसे बाद में अभ्यर्थियों को बेच दिया। इसमें एक सुनील विश्नोई पुत्र रघुनाथराम विश्नोई नाम का अभ्यार्थी 24 दिसंबर 2022 को उस बस में सवार था जिसमें पेपर को सॉल्व कराया जा रहा था।
बता दें, पेपर लीक मामले में पकड़े गए मुख्य सरगना भूपेन्द्र सारण और उसके सहयोगी राजीव उपाध्याय ने ही पुलिस पूछताछ में पटवारी की भूमिका होने का खुलासा किया था। गिरफ्तार आरोपियों ने पूछताछ में पुलिस को बताया था कि पटवारी की भूमिका अभ्यर्थियों को एकत्रित करने और पेपर बेचने में शामिल थी।
बता दें, 24 दिसंबर 2022 को होने वाली सीनियर टीचर भर्ती पेपर से पहले उदयपुर पुलिस ने गोगुंदा हाईवे पर सुबह एक बस में अभ्यर्थियों को नकल करते पकड़ा था। इसमें आरोपी सरकारी स्कूल के हेड मास्टर सुरेश विश्नोई और भजनलाल विश्नोई पेपर सॉल्व करते पकड़े गए थे। जिसमें सुरेश विश्नोई ने पुलिस पूछताछ में बताया था कि उसे भूपेंद्र सारण ने ही वॉट्सऐप पर पेपर भेजा था। इसके बाद पुलिस ने भूपेंद्र सारण समेत अन्य आरोपियों के ठिकानों पर दबिश देना शुरू कर दिया था।