नई दिल्ली: दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया से आठ घंटों की लंबी पूछताछ के बाद रविवार को उन्हें सीबीआई ने गिरफ्तार कर लिया। पहले सत्येंद्र जैन और अब मनीष सिसोदिया की गिरफ्तारी के बाद दिल्ली सरकार के सामने मंत्रालयों के संचालन का बड़ा सकंट सामने आ गया था। बता दें, गिरफ्तार होने के बाद मनीष […]
नई दिल्ली: दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया से आठ घंटों की लंबी पूछताछ के बाद रविवार को उन्हें सीबीआई ने गिरफ्तार कर लिया। पहले सत्येंद्र जैन और अब मनीष सिसोदिया की गिरफ्तारी के बाद दिल्ली सरकार के सामने मंत्रालयों के संचालन का बड़ा सकंट सामने आ गया था। बता दें, गिरफ्तार होने के बाद मनीष सिसोदिया ने तीन पन्नों का इस्तीफा मुख्यमंत्री केजरीवाल को सौंप दिया था। इसके अलावा नौ महीनों से जेल में बंद सत्येंद्र जैन का त्यागपत्र भी मुख्यमंत्री केजरीवाल ने स्वीकार कर लिया है। जिसके बाद अब दिल्ली में मंत्रियों की संख्या पांच हो चुकी है। अब इस्तीफों के बाद दिल्ली सरकार के मंत्रालयों का बंटवार कर दिया गया है
मनीष सिसोदिया के इस्तीफे के बाद जो 18 विभाग उनके हिस्से थे, उन्हें दो मंत्रियों परिवहन मंत्री कैलाश गहलोत और समाज कल्याण मंत्री राजकुमार आनंद में बंटवारा कर दिया गया। बता दे, कैलाश गहलोत को वित्त जैसा महत्वपूर्ण विभाग दिया गया है, जिससे वह बजट का कार्य कर समय से अगले वित्त वर्ष के लिए बजट पेश कर सकें। वहीं शिक्षा विभाग राजकुमार को सौंपा गया है। दिल्ली सरकार ने बताया है कि जल्द ही सरकार में दो नए मंत्री शामिल होंगे।
दरअसल रविवार शाम मनीष सिसोदिया से आठ घंटों की लंबी पूछताछ के बाद उन्हें सीबीआई ने गिरफ्तार कर लिया। वहीं सिसोदिया की गिरफ्तारी के बाद से ही विपक्षी दल भाजपा और कांग्रेस की ओर से दोनों मंत्रियों के इस्तीफे की मांग बढ़ गई थी। वहीं दूसरी ओर सिसोदिया को सीबीआई हिरासत में भेजने के राउज एवेन्यू कोर्ट के फ़ैसले को चुनौती देते हुए दिल्ली सरकार सुप्रीम कोर्ट गई थी, लेकिन उन्हें अदालत से कोई राहत नहीं मिली।
उपमुख्यमंत्री सिसोदिया के पास शिक्षा, लोक निर्माण, वित्त, आबकारी जैसे सबसे खास विभाग थे। सत्येंद्र जैन के तिहाड़ जेल जाने के बाद उनके विभाग भी सिसोदिया देख रहे थे। जिनमें स्वास्थ्य, उद्योग, बिजली, गृह, सिंचाई, बाढ़ नियंत्रण और जल संसाधन जैसे मंत्रालय शामिल थे। दरअसल जैन को विगत वर्ष मई के महीने में मनी लांड्रिंग के मामले में ईडी ने गिरफ्तार कर लिया था। वहीं फरवरी 2020 में मुख्यमंत्री केजरीवाल ने अपने सभी विभाग छोड़ दिए थे, इन विभागों को भी सिसोदिया ही देख रहे थे।
कैलाश गहलोत को मिले यह विभाग जिनमें -वित्त मंत्रालय, योजना, लोक निर्माण विभाग, शक्ति मंत्रालय, गृह मंत्रालय, शहरी और विकास मंत्रालय, सिंचाई और बाढ़ नियंत्रण शामिल है। वहीं दूसरी ओर राज कुमार आनंद को शिक्षा विभाग, भूमि और भवन विभाग, जागरूकता विभाग, सेवाएं, पर्यटन, कला संस्कृति और भाषा, श्रम मंत्रालय, रोजगार मंत्रालय विभाग मिले है।
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