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Ram Navami 2024: इस तिथि को मनाई जाएगी राम नवमी, जानें तारीख और पूजा का शुभ मुहूर्त

नई दिल्ली। देश भर में सोमवार को होली का त्योहार मनाया गया और इसी के साथ फाल्गुन मास की समाप्ती भी हो गई। अब 26 मार्च से चैत्र मास की शुरूआत हो गई है। जिसमें कई सारे त्योहार मनाते हैं। वहीं वैदिक पंचांग के अनुसार, चैत्र महीने के शुक्ल पक्ष की नवमी तिथि को राम […]

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Ram Navami 2024: इस तिथि को मनाई जाएगी राम नवमी, जानें तारीख और पूजा का शुभ मुहूर्त
  • March 27, 2024 2:10 pm Asia/KolkataIST, Updated 9 months ago

नई दिल्ली। देश भर में सोमवार को होली का त्योहार मनाया गया और इसी के साथ फाल्गुन मास की समाप्ती भी हो गई। अब 26 मार्च से चैत्र मास की शुरूआत हो गई है। जिसमें कई सारे त्योहार मनाते हैं। वहीं वैदिक पंचांग के अनुसार, चैत्र महीने के शुक्ल पक्ष की नवमी तिथि को राम नवमी मनाई जाती है। इसी के साथ ही चैत्र नवरात्रि की नवमी तिथि के साथ संपन्न हो जाता है। ऐसे आइए जानते हैं साल 2024 में राम नवमी कब है और इसकी पूजा के शुभ मुहूर्त के बारे में।

जानें कब है राम नवमी ?

वैदिक पंचांग की मानें तो इस साल 2024 में चैत्र महीने के शुक्ल पक्ष की नवमी तिथि की शुरूआत 16 अप्रैल को 1 बजकर 26 मिनट से हो जाएगी। जो कि अगले दिन 17 अप्रैल को 3 बजकर 16 मिनट तक समाप्त होगी। बता दें कि उदया तिथि की वजह से 17 अप्रैल को राम नवमी मनाई जाएगी।

राम नवमी की पूजा का मुहूर्त

ज्योतिष गणना के मुताबिक, राम नवमी का शुभ मुहूर्त 17 अप्रैल को सुबह 11 बजकर 4 मिनट से दोपहर 1 बजकर 35 मिनट तक रहेगा। इस दौरान प्रभु राम की पूजा-अराधना कर सकते हैं।

जानिए राम नवमी का महत्व

दरअसल, धार्मिक मान्यताओं की मानें तो चैत्र माह के शुक्ल पक्ष की नवमी तिथि को प्रभु श्री राम का जन्म हुआ था। इसी वजह से नवमी तिथि को राम नवमी के नाम से जाना जाता है। राम जी की पूजा करने से सद्बुद्धि, बल, ज्ञान के आशीर्वाद की प्राप्ति होती है। इस दिन राम जी की पूजा के साथ-साथ हनुमान जी की पूजा करना भी काफी शुभ माना गया है।

पौराणिक कथाओं के मुताबिक, जब राजा दशरथ की तीनों रानियों कौशल्या, सुमित्रा और कैकयी को संतान की प्राप्ति नहीं हो रही थी। तब राजा दशरथ ने पुत्रेष्टि यज्ञ करवाया और प्रसाद के रूप में खीर तीनों रानियों को खिलाई। जिसके बाद तीनों रानियों ने गर्भधारण किया और करीब नौ महीने बाद रानी कौशल्या ने भगवान राम, रानी कैकयी ने भरत और रानी सुमित्रा ने लक्ष्मण और शत्रुघ्न को जन्म दिया। ऐसे में जिस दिन राम जी का जन्म हुआ उस दिन नवमी तिथि थी।

इस मंत्र का करें जाप

रामनवमी के दिन पूजा-अर्चना के साथ-साथ, राम रक्षा मंत्र ‘ॐ श्रीं ह्रीं क्लीं रामचन्द्राय श्री नमः’ का जाप करना भी काफी फलदायी माना गया है। इस मंत्र के जाप से प्रभु राम का विशेष आशीर्वाद प्राप्त होता है।

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