नई दिल्लीः केंद्रीय जांच प्रवर्तन निदेशालय ने कथित 25,000 करोड़ रुपये के महाराष्ट्र राज्य सहकारी बैंक घोटाले की जांच के तहत शुक्रवार को शरद पवार के पोते और विधायक रोहित पवार के स्वामित्व वाली एक फर्म के परिसरों पर छापेमारी की। राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी के अध्यक्ष शरद पवार और उनके भतीजे अजित पवार का भी […]
नई दिल्लीः केंद्रीय जांच प्रवर्तन निदेशालय ने कथित 25,000 करोड़ रुपये के महाराष्ट्र राज्य सहकारी बैंक घोटाले की जांच के तहत शुक्रवार को शरद पवार के पोते और विधायक रोहित पवार के स्वामित्व वाली एक फर्म के परिसरों पर छापेमारी की। राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी के अध्यक्ष शरद पवार और उनके भतीजे अजित पवार का भी पहले घोटाले में नाम लिया गया था। बता दें कि अजित पवार अब प्रदेश में सत्तारूढ़ गठबंधन का हिस्सा हैं।
बता दें कि विधायक रोहित पवार बारामती एग्रो कंपनी के मालिक हैं। सूत्रों के अनुसार, बारामती, पुणे, औरंगाबाद और अमरावती में कम से कम छह ठिकानों पर छापेमारी की गई है। बारामती कस्बे में बारामती एग्रो के ऑफिस पर भी छापेमारी की गई। मुंबई पुलिस की आर्थिक अपराध शाखा ने अगस्त, 2019 में मामला दर्ज किया था, जिसके बाद धन शोधन का ये मामला उजागर हुआ था। जानकारी दे दें कि मुंबई पुलिस ने सहकारी बैंक घोटाले में अजित पवार, शरद पवार और 70 अन्य के खिलाफ एफआईआर दर्ज की थी, लेकिन सबूतों के अभाव का हवाला देते हुए बाद में एक क्लोजर रिपोर्ट दायर की थी।
सूत्रों ने बताया कि प्रवर्तन निदेशालय का आरोप है कि बारामती एग्रो ने महाराष्ट्र राज्य सहकारी बैंक से लोन लिए थे, जिसके बाद या तो अवैतनिक रहे या धन का दुरुपयोग किया गया। एजेंसी ने ये भी दावा किया है कि शरद पवार के करीबी लोग बैंक के निदेशक मंडल में थे और उन्होंने बारामती एग्रो और कई अन्य कंपनियों को उचित प्रक्रिया का पालन किए बिना लोन प्रदान किया था। कथित तौर पर इन लोन का भुगतान नहीं किया गया था।
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