नई दिल्लीः इजरायल और हमास के बीच संघर्ष को अब एक महीने पूरे होने होने वाले है। हालांकि इस बीच दोनों तरफ से हमले जारी है। जहां इजरायल में हमास के हमले में अब तक 1400 से ज्यादा की मौत हुई है। वहीं गजा पट्टी में इजरायली सेना के पटलवार में करीब 10000 से ज्यादा […]
नई दिल्लीः इजरायल और हमास के बीच संघर्ष को अब एक महीने पूरे होने होने वाले है। हालांकि इस बीच दोनों तरफ से हमले जारी है। जहां इजरायल में हमास के हमले में अब तक 1400 से ज्यादा की मौत हुई है। वहीं गजा पट्टी में इजरायली सेना के पटलवार में करीब 10000 से ज्यादा की जान जा चुकी है। इसी बीच इजरायल पर लेबनान के इरान समर्थित संगठन – हिजबुल्ला की तरफ से हमले का खतरा बढ़ता जा रहा है। खुद ईरान भी कई मौकों पर इजरायल को अंजाम भुगतने की चेतावनी दे चुका है। इन हालात को देखते हुए अमेरिका ने ऐलान किया है कि उसने अपनी एक परमाणु पनडुब्बी पश्चिमी एशिया में तैनात कर दी है
अमेरिका सेंट्रल कमांड ने सोमवार को सोशल मीडिया प्लेफॉर्म एक्स पर लिखा कि उसकी एक ओहयो क्लास सबमरीन पांच नवंबर को ही कमान के जिम्मेदारी वाले इलाके में उतर चुकी है। सेंट्रल कमांड ने इस पोस्ट में एक तस्वीर भी साझा की है। जिसमें सबमरीन को मिस्त्र के काहिरा में स्थित अल – सलाम ब्रिज के नीचे से गुजरते देखा जा सकता है।
एक निजी चैनल के मुताबिक पश्चिम एशिया में गाइडेड मिसाइल सबमरीन भेजी गई है। माना जा रहा है कि अमेरिका अपने इस कदम के जरिए ईरान और उसके समर्थित संगठनों को इजरायल – हमास संघर्ष में ने कूदने की सीधी चेतवानी दे रहा है। गौरतलब है कि अमेरिका ने पहले ही कुछ युद्धपोतों को पश्चिमी एशिया भेजा है। इसमें दो कैरियर स्ट्राइक और एक समुद्री समूह शामिल है।
खबरों के मुताबिक मार्च 2011 के बाद यह पहली बार है जब किसी मिसाइल सबमरीन को संघर्ष की स्थिति में उतारा गया। 2011 में गाइडेड मिसाइल सबमरीन यूएसएस फ्लोरिडा ने लीबिया में ऑपरेशन ओडीसी डॉन के दौरान लीबिया में कई टारगेट पर 100 से ज्यादा टॉमहॉक मिसाइलें दागी थी।