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रिहाई के बाद पहली बार CM नीतीश से मिले बाहुबली नेता आनंद मोहन, आधे घंटे तक हुई बातचीत

पटना: डीएम जी कृष्णैया हत्याकांड मामले में दोषी करार होने के बाद बिहार के बाहुबली नेता और पूर्व सांसद आनंद मोहन को रिहा कर दिया गया. बुधवार को आनंद मोहन ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार से मुलाकात की है. बता दें, ये पहली बार है जब रिहा होने के बाद आनंद मोहन ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार […]

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रिहाई के बाद पहली बार CM नीतीश से मिले बाहुबली नेता आनंद मोहन, आधे घंटे तक हुई बातचीत
  • May 24, 2023 3:24 pm Asia/KolkataIST, Updated 2 years ago

पटना: डीएम जी कृष्णैया हत्याकांड मामले में दोषी करार होने के बाद बिहार के बाहुबली नेता और पूर्व सांसद आनंद मोहन को रिहा कर दिया गया. बुधवार को आनंद मोहन ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार से मुलाकात की है. बता दें, ये पहली बार है जब रिहा होने के बाद आनंद मोहन ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार से मिले हैं.

मुलाकात को बताया औपचारिक

ये मुलाकात सीएम नीतीश के पटना स्थित आवास पर हुई है जहां दोनों के बीच आधे घंटे तक बातचीत हुई थी. इससे पहले मंगलवार शाम उन्होंने राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव के साथ मुलाकात की थी. हालांकि इस समय महागठबंधन में क्या खिचड़ी पक रही है कुछ कहा नहीं जा सकता है. फिलहाल आनंद मोहन और नीतीश कुमार की इस मुलाकात में किन मुद्दों पर बातचीत हुई ये साफ़ नहीं हो पाया है. दूसरी ओर आनंद मोहन ने इस मुलाकात को औपचारिक बताया है.

 

 

 

किस पार्टी में जाएंगे तय नहीं

बता दें, बीते दिन पटना में मीडिया से बातचीत में आनंद मोहन सिंह ने अपनी सजा, विरोध में उठ रही आवाजों और भविष्य की राजनीति पर सवालों के जवाब दिए। पूर्व सांसद से जब पूछा गया था कि अब वह किस पार्टी का रुख करेंगे तो उन्होंने कहा था कि इस पर बेटे की शादी के बाद फैसला लिया जाएगा। उन्होंने कहा कि संघर्ष के साथियों से इस विषय में विचार-विमर्श किया जाएगा। इसके बाद ही कोई फैसला लिया जाएगा। इसी दौरान आनंद मोहन से पूछा गया था कि क्या रिहाई के बाद उनका वहीं अंदाज सामने आएगा जो पहले था ? इस पर उन्होंने कहा कि नेचर और सिग्नेचर तो अंतिम में ही बदलता है।

हल्ला मचाते रहें विरोधी

रिहाई को लेकर पूरे देश में उठ रहे विरोध के स्वरों पर भी आनंद मोहन ने अपनी बात रखी। उन्होंने कहा कि विरोधियों को जितना हल्ला मचाना है, मचाते रहें। आनंद मोहन के मुताबिक उनकी रिहाई पर विरोधियों का इस तरह से शोर मचाना एक तरह से कोर्ट की अवमानना है। उन्होंने अपने विरोधियों पर तंज कसते हुए कहा कि क्यों नहीं विरोधी मुझे ही अप्लीकेशन भेज देते हैं, मैं खुद से ही जेल चला जाऊंगा। गौरतलब है कि 1994 में गोपालगंज के डीएम की हत्या के मामले में आनंद मोहन जेल में बंद हैं। नीतीश सरकार द्वारा नियमों में बदलाव के बाद उनकी जेल से रिहाई हो रही है।

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