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अफगानिस्तान और ताजिकिस्तान में फिर कांपी धरती, 4.0 से ज्यादा तीव्रता का आया भूकंप

नई दिल्ली। अफगानिस्तान और ताजिकिस्तान में आज भूकंप के झटके महसूस किए गए हैं। अफगानिस्तान में जहां भूकंप की तीव्रता 4.1 मापी गई है, वहीं ताजिकिस्तान में 4.3 तीव्रता का भूकंप आया है। भूकंप के इन झटकों से किसी के जानमाल के नुकसान की खबर सामने नहीं आई है। अफगानिस्तान-ताजिकिस्तान में भूकंप नेशनल सेंटर फॉर […]

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अफगानिस्तान और ताजिकिस्तान में फिर कांपी धरती, 4.0 से ज्यादा तीव्रता का आया भूकंप
  • February 28, 2023 2:10 pm Asia/KolkataIST, Updated 2 years ago

नई दिल्ली। अफगानिस्तान और ताजिकिस्तान में आज भूकंप के झटके महसूस किए गए हैं। अफगानिस्तान में जहां भूकंप की तीव्रता 4.1 मापी गई है, वहीं ताजिकिस्तान में 4.3 तीव्रता का भूकंप आया है। भूकंप के इन झटकों से किसी के जानमाल के नुकसान की खबर सामने नहीं आई है।

अफगानिस्तान-ताजिकिस्तान में भूकंप

नेशनल सेंटर फॉर सीस्मोलॉजी के अनुसार, ताजिकिस्तान में आज मंगलवार सुबह 5:32 मिनट पर 4.3 तीव्रता का भूकंप मापा गया, वहीं अफगानिस्तान में सुबह 4:05 मिनट पर भूकंप के झटके महसूस किए गए। बता दें कि कुछ दिन पहले ताजिकिस्तान में 6.6 तीव्रता का भूकंप आया था।

तुर्किये-सीरिया में भूकंप से तबाही

बता दें कि, इससे पहले सीरिया और तुर्किये में भूंकप का प्रचंड अवतार देखा गया था। दरअसल, कुछ हफ्ते पहले तुर्किये में 7.8 तीव्रता का भूकंप आया था, जिसमें हजारों की संख्या में इमारतें ध्वस्त हो गईं थी। भूकंप की वजह से दोनों देशों में 50,000 से ज्यादा लोगों की मौत हो गई थी।

एक बार फिर आया तुर्किये में भूकंप

जानकारी के मुताबिक, तुर्किये में सोमवार को एक बार फिर 5.6 तीव्रता का भूकंप आया। इस भूकंप की वजह से कुछ बिल्डिंग को नुकसान पहुंचा है, जिसने तुर्किये की हालत और भी पस्त कर दिया है। सोमवार को आए इस भूकंप में एक व्यक्ति की भी मौत हुई है, साथ ही कई लोग घायल भी हुए हैं।

तुर्किये में क्यों आते हैं ज्यादा भूकंप?

गौरतलब है कि, तुर्किये में ज्यादा भूकंप आने का कारण टेक्टोनिक प्लेट्स हैं। तुर्किये करीबन 8 करोड़ की आबादी वाला देश हैं। चार टेक्टोनिक प्लेटों पर बसे इस देश में एक प्लेट के हिलने से भी पूरा क्षेत्र भूकंप झटके महसूस करता है। आपको बता दें कि, तुर्किये का सबसे बड़ा क्षेत्र एनाटोलियन प्लेट पर बसा है, जो यूरेशिया और अफ्रीका और अरेबिया के बीच मौजूद है इसलिए अफ्रीकी और अरब टेकटोनिक प्लेटें जैसे ही मूवमेंट करती हैं, पूरा तुर्किये भूकंप से कांप उठता है।

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