जामनगर. गुजरात चुनाव में पूरी ताकत के साथ उतरने की तैयारी कर रही आम आदमी पार्टी को चुनाव से पहले ही तगड़ा झटका लग गया है. भारतीय ट्राइबल पार्टी ने आप के साथ अपना गठबंधन तोड़ दिया है और इसे लेकर आधिकारक ऐलान भी कर दिया है. क्यों टूट गया गठबंधन? भारतीय ट्राइबल पार्टी की […]
जामनगर. गुजरात चुनाव में पूरी ताकत के साथ उतरने की तैयारी कर रही आम आदमी पार्टी को चुनाव से पहले ही तगड़ा झटका लग गया है. भारतीय ट्राइबल पार्टी ने आप के साथ अपना गठबंधन तोड़ दिया है और इसे लेकर आधिकारक ऐलान भी कर दिया है.
भारतीय ट्राइबल पार्टी की तरफ से गठबंधन तोड़ने तर्क दिया गया है कि अगर आम आदमी पार्टी के साथ गठबंधन रखा गया तो उनके खुद के संगठन को नुकसान होगा और उनकी पार्टी को तोड़ने की कोशिश की जाएगी. इसी वजह से भारतीय ट्राइबल पार्टी अब अकेले ही चुनाव में उतरने की तैयारी कर रही है, अब जब गुजरात चुनाव में आम आदमी पार्टी, बीजेपी के सामने पूरे दमखम के साथ उतरना चाहती है, उस बीच पार्टी को ऐसा झटका काफी भारी पड़ सकता है और जमीन पर कई समीकरण भी बदल सकता है.
गुजरात की 182 सीट में 27 सीटों पर आदिवासी समाज का प्रभाव है और कई क्षेत्रों में आदिवासी वोटर ही हार-जीत तय करते हैं. इसी वजह से उस वोटबैंक में सेंधमारी के लिए आप ने भारतीय ट्राइबल पार्टी से हाथ मिलाया था, लेकिन अब वो पहल फेल हो गई है क्योंकि चुनाव से पहले ही भारतीय ट्राइबल पार्टी ने गठबंधन तोड़ दिया है. अभी तक इस संबंध में आम आदमी पार्टी की तरफ से कोई प्रतिक्रिया नहीं दी गई है.
वैसे इस समय गुजरात में आप संयोजक अरविंद केजरीवाल की सक्रियता काफी ज्यादा बढ़ चुकी है और वे इस साल चार से पांच बार गुजरात दौरे पर आ चुके हैं. हर बार वहां की जनता को अलग-अलग गारंटी दे रहे हैं और पहले से ज्यादा लुभावने वादें कर रहे हैं. कभी स्वास्थ्य को लेकर बड़ा ऐलान है तो कभी अच्छी शिक्षा को लेकर वादा कर रहे हैं, कुछ दिन में आप की गुजरात में एक यात्रा भी शुरू होने वाली है, जिसकी शुरुआत मनीष सिसोदिया करने वाले हैं.
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